विदेश मंत्री एस जयशंकर ने गुरुवार (15 मई 2025) को भारत-अमेरिका ट्रेड डील और पाकिस्तान के साथ द्विपक्षीय वार्ता पर जवाब दिया. उन्होंने कहा कि भारत और अमेरिका के बीच ट्रेड को लेकर बातचीत चल रह है. विदेश मंत्री ने बताया कि जब तक सब कुछ तय नहीं हो जाता, तब तक कुछ भी फाइनल नहीं होता. होंडुरास दूतावास के उद्घाटन के अवसर पर विदेश मंत्री ने ये बातें कही है.
ट्रेड डील का फायदेमंद होना जरूरी- जयशंकर
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि किसी भी ट्रेड डील का दोनों पक्षों के लिए फायदेमंद होना बेहद जरूरी है. उन्होंने कहा, “जब तक ऐसा नहीं हो जाता, इस पर कोई भी निर्णय लेना जल्दबाजी होगी.” इससे पहले दोहा में डोनाल्ड ट्रंप ने कहा है कि भारत ने अमेरिकी उत्पादों पर जीरो टैरिफ का ऑफर दिया है. उन्होंने कहा कि भारत ने अमेरिका के साथ द्विपक्षीय व्यापार समझौता करने की पेशकश की है, जिसमें मूल रूप से यह प्रस्ताव है कि अमेरिकी वस्तुओं की एक रेंज पर कोई टैरिफ नहीं लगाया जाएगा.
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप के अनुसार उन्होंने एप्पल के सीईओ टिम कुक से कहा कि वे भारत में और अधिक मैन्युफैक्चरिंग प्लांट स्थापित करने की अपनी योजना को छोड़ दें और इसके बजाय अमेरिका में इन प्लांट के निर्माण पर ध्यान केंद्रित करें.
बेसलाइन टैरिफ अभी भी प्रभावी
डोनाल्ड ट्रंप ने अप्रैल 2025 में भारत पर करीब 27 फीसदी का रेसिप्रोकल टैरिफ लगाया था, लेकिन बाद में इसे 9 जुलाई तक के लिए स्थगित कर दिया गया. हालांकि 2 अप्रैल को सभी देशों पर लगाया गया 10 फीसदी का बेसलाइन टैरिफ अभी भी प्रभावी है. इसके अतिरिक्त स्टील, एल्युमीनियम और ऑटो कलपुर्जों पर 25 फीसदी टैक्स भी लगाया गया है.
फरवरी में पीएम मोदी ने अमेरिका का दौरा किया था. इस दौरान दोनों नेताओं ने भारत और अमेरिका के द्विपक्षीय व्यापार को 2030 तक दोगुना करके 500 बिलियन डॉलर करने के महत्वाकांक्षी लक्ष्य पर सहमति जताई.