ईरान-इजराइल के बीच बीते एक हफ्ते से जंग जारी है. इस युद्ध में अब तक 639 लोगों की मौत हो चुकी है तो वहीं 1 हजार से ज्यादा लोग घायल हुए हैं. दोनों देशों के बीच जारी जंग ने पूरी दुनिया को टेंशन में डाल दिया है. बीते दिन भारत सरकार की तरफ से चलाए गए ऑपरेशन सिंधु के तहत 110 भारतीय छात्रों को ईरान से सुरक्षित निकालकर भारत लाया गया. अब एक बार फिर भारत सरकार ने अपने उन नागरिकों को इजराइल से निकालने का फैसला किया है, जो जंग के कारण वहां से निकलना चाहते हैं.
इजराइल और ईरान के बीच हाल ही में हुए घटनाक्रमों को देखते हुए, भारत सरकार ने इजराइल से उन भारतीय नागरिकों को निकालने का फैसला किया है जो वहां से निकलना चाहते हैं. इजराइल से भारत की उनकी यात्रा लैंड बॉर्डर के माध्यम से और उसके बाद हवाई मार्ग से कराई जाएगी. तेल अवीव स्थित भारतीय दूतावास इजराइल में मौजूद भारतीय नागरिकों की मदद करेगा, जो अपने देश लौटना चाहते हैं.
सरकार ने जारी किए हेल्पलाइन नंबर
भारत ने बुधवार को ईरान से अपने नागरिकों को निकालने के लिए ऑपरेशन सिंधु शुरू करने की घोषणा की, क्योंकि इजराइल-ईरान के बीच संघर्ष कम होने का कोई संकेत नहीं दिखा. विदेश मंत्रालय ने कहा, भारत सरकार विदेश में भारतीय नागरिकों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देती है. इजराइल से निकलने वाले नागरिकों के लिए सरकार ने हेल्पलाइन नंबर भी जारी किए हैं.
सरकार ने नागरिकों से तेल अवीव में भारतीय दूतावास संपर्क की वेबसाइट पर रजिस्ट्रेशन कराने का निर्देश दिया है. अगर कोई नागरिक रजिस्ट्रेशन नहीं करा सकता है तो वह +972 54-7520711; +972 54-3278392; ईमेल: cons1.telaviv@mea.gov.in. पर संपर्क कर सकता है.
ईरान और इजराइल में कितने भारतीय?
ईरान में 10 हजार से ज्यादा भारतीय रह रहे हैं. इसमें से 1500 से ज्यादा भारतीय छात्र हैं. इसी तरह इजराइल में कुल 105000 भारतीय नागरिक मौजूदा समय में रह रहे हैं. फिलहाल जिन 110 भारतीय छात्रों को ईरान से लाया गया है, वे उरमिया मेडिकल यूनिवर्सिटी में पढ़ाई कर रहे थे. छात्रों को सुरक्षित निकालने के बाद अब सरकार अपने नागरिकों को निकालने के लिए ऑपरेशन सिंधु चला रही है.