मध्यप्रदेश : जबलपुर रांझी थाना क्षेत्र अंतर्गत आमा नाला इलाके में उस समय हड़कंप मच गया जब नगर निगम द्वारा कराई जा रही कुएं की सफाई के दौरान सफाई कर्मचारियों को सेना से जुड़े पुराने हथियार मिले. कुएं में 54 तोप के गोले के खोखे और एक हैंड ग्रेनेड बरामद हुआ.
यह मामला सामने आते ही स्थानीय पुलिस के साथ साथ बम सकॉड की टीम, सेना और COD (सेंटर ऑर्डनेंस डिपो) के अधिकारी भी मौके पर पहुंच गए. जो पूरे मामले की जांच कर रहे है.
गर्मी के मौसम को ध्यान में रखते हुए नगर निगम द्वारा इलाके के पुराने कुओं की सफाई कराई जा रही थी. इसी प्रक्रिया में जब सफाई कर्मचारी आमा नाला क्षेत्र स्थित एक कुएं की सफाई कर रहे थे, तो पहले कारतूसों के खोखे दिखे और बाद में एक जंग लगा हुआ हैंड ग्रेनेड भी मिला. लगातार मिलते हथियारों को देखकर सफाईकर्मी दहशत में आ गए और तुरंत पुलिस को सूचना दी गई.
पुलिस ने मौके पर पहुंचते ही कुएं को खाली करवाना शुरू कर दिया और पूरे क्षेत्र को घेराबंदी कर सुरक्षा के दृष्टिकोण से सील कर दिया. घटनास्थल पर रांझी थाने के टीआई मानस द्विबेदी ने बताया कि प्रारंभिक जांच में यह प्रतीत होता है कि यह हथियार भारतीय सेना या रक्षा मंत्रालय से जुड़ी आयुध फैक्ट्रियों से संबंधित हो सकते हैं. रांझी-खमरिया क्षेत्र में स्थित खमरिया ऑर्डनेंस फैक्ट्री, जीसीएफ, वीएफजे सहित कई रक्षा संस्थान हैं, जिनसे यह सामग्री जुड़ी हो सकती है.
स्थानीय महिला के अनुसार पहले इस क्षेत्र में कबाड़ी बड़ी संख्या में रहा करते थे. उनके द्वारा ही यह गोला बारूद यहां फेंका गया होगा. महिला का कहना है कि यह कुआं करीब 80 साल पुराना है. वही पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार ऑर्डनेंस फैक्ट्री में बनने बाले छोटे गोले के तोप सेल है.
पुलिस ने बरामद हैंड ग्रेनेड और कारतूसों के खोखों को कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है. सेना को भी पूरे मामले की जानकारी दी गई है, ताकि यह स्पष्ट हो सके कि ये हथियार वहां कैसे पहुंचे और कब से कुएं में पड़े थे. बम डिस्पोजल स्क्वाड की सहायता से कुएं की पूरी तरह से जांच की जा रही है.
इस घटना ने न केवल स्थानीय लोगों को चौंका दिया है, बल्कि सुरक्षा एजेंसियों को भी सतर्क कर दिया है. जांच के बाद ही यह स्पष्ट होगा कि इन हथियारों का स्रोत क्या है और इन्हें किस उद्देश्य से फेंका गया था.