डीडवाना – कुचामन: कुचामन सिटी में संगठित साइबर अपराध सिंडिकेट के खिलाफ पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए तीन युवकों को गिरफ्तार किया है जो कि साइबर ठगो के लिए काम करते हुए आमजन से साइबर फ्रॉड की वारदातों को अंजाम दे रहे थे. जिला पुलिस अधीक्षक ऋचा तोमर के निर्देशन, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक नेमीचन्द खारिया और वृताधिकारी अरविन्द विश्नोई के सुपरविजन तथा थानाधिकारी सतपाल सिंह के नेतृत्व में गठित टीम ने इस सफलता को अंजाम दिया.
कुचामन थाने में प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए एसपी ऋचा तोमर ने बताया की गश्त के दौरान हैड कांस्टेबल रामदेव पूरी को सूचना मिली कि बूड़सू चौराहे के समीप श्री बालाजी होटल के पास कुछ युवक ऑनलाइन ठगी का काम कर रहे हैं. पुलिस टीम ने मौके पर पहुंचकर संदिग्ध अवस्था में बैठे तीन युवकों को घेराबंदी कर दबोचा, जो पुलिस को देखते ही मोबाइल छिपाने का प्रयास कर रहे थे.
तलाशी के दौरान आरोपियों के कब्जे से 8 मोबाइल फोन, 11 विभिन्न बैंकों के एटीएम कार्ड, बैंक पासबुक, एक चेकबुक, एक कियोस्क कार्ड और 2 लाख 30 हजार रुपये नकद बरामद हुए. मोबाइल और दस्तावेजों की जांच में करोड़ों रुपये के संदिग्ध ट्रांजैक्शन का पता चला, जिसमें एक खाते में 39 लाख 70 हजार रुपये और दूसरे खाते में 2 करोड़ 24 लाख 92 हजार 319 रुपये के लेन-देन दर्ज पाए गए.
जिला पुलिस अधीक्षक तोमर ने बताया की जांच में यह भी सामने आया कि आरोपी कमीशन के आधार पर साइबर ठगों के लिए काम करते थे. वे बाजार से कम दाम पर नकद में USDT (ऑनलाइन बैलेंस) खरीदते और उसे अधिक दाम में बेच देते थे. ठगी की रकम साइबर ठगों द्वारा आरोपियों के खातों में डाली जाती, जिसे ये तुरंत एटीएम से निकालकर अपने गिरोह के सरगना को सौंप देते और इसके बदले तय कमीशन प्राप्त करते.
गिरफ्तार आरोपियों की पहचान हरेंद्र गोदारा निवासी ईटावा, मनिष मुवाल निवासी बूड़सू और सुनिल प्रजापत निवासी धनकोली के रूप में हुई है. इनके खिलाफ विभिन्न धाराओं के साथ गिरोह के रूप में अपराध करने की जानकारी सामने आने पर BNS की धारा 111 और 112 के तहत मामला दर्ज कर जांच सहायक उपनिरीक्षक जगदीश प्रसाद दवे को सौंपा गया है.
जिला पुलिस अधीक्षक ऋचा तोमर ने की अपील
पुलिस अधीक्षक ऋचा तोमर ने जिलेवासियों से अपील की है कि किसी भी अनजान व्यक्ति को बैंक खाता, एटीएम कार्ड, पासबुक या मोबाइल वॉलेट का उपयोग न करने दें और न ही कमीशन के लालच में अपने खाते का लेन-देन किसी को सौंपें. उन्होंने कहा कि ऐसे कार्य कानूनन अपराध हैं और इसमें शामिल पाए जाने पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
साथ ही नागरिकों से आग्रह किया कि यदि किसी संदिग्ध लेन-देन, साइबर ठगी या ऑनलाइन धोखाधड़ी की जानकारी मिले तो तुरंत नज़दीकी पुलिस थाने को सूचित करें या जिला साइबर हेल्पलाइन 9530413387 पर संपर्क करें. सतर्क रहना ही सुरक्षा है, इसलिए साइबर अपराधियों से बचें और दूसरों को भी जागरूक करें.