दिल्ली शराब घोटाला से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले मनीष सिसोदिया को बड़ी राहत मिली है. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दे दी है. सिसोदिया को पिछले साल फरवरी में गिरफ्तार किया गया था और वो उसके बाद से ही लगातार जेल में हैं. शीर्ष अदालत ने 10 लाख के बेल बॉन्ड पर सिसोदिया को जमानत दी है. सिसोदिया को ED और सीबीआई मामले में 10-10 लाख का बॉन्ड भरना होगा.
सिसोदिया को पासपोर्ट सरेंडर करना होगा. प्रत्येक सोमवार को आईओ को रिपोर्ट करनी होगी. गवाह को प्रभावित करने का प्रयास नहीं करेंगे. सुप्रीम कोर्ट ने ED की ट्रायल कोर्ट भेजने की मांग को खारिज कर दिया. शीर्ष अदालत ने कहा कि ट्रायल कोर्ट और हाईकोर्ट को यह समझना चाहिए कि जमानत नियम है और जेल अपवाद है. बिना ट्रायल पूरा किए किसी को जेल में रखकर सजा नहीं दी जा सकती है.
सिसोदिया को जमानत देते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा सिसोदिया लंबे समय से जेल में बंद हैं, इस प्रकार वह शीघ्र सुनवाई के अधिकार से वंचित हुए हैं. वक्त आ गया है कि निचली अदालतें और हाई कोर्च इस सिद्धांत को समझें कि जमानत नियम है और जेल अपवाद है. मनीष सिसोदिया को जमानत के लिए निचली अदालत भेजना न्याय का अपमान होगा इसलिए हम उन्हें जमानत दे रहे हैं.