दमोह : हार्ट सर्जरी के दौरान 7 मरीजों की मौत के मामले में स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन की टीम ने मिशन अस्पताल का कैथ लैब सील कर दिया.
गुरुवार शाम करीब 4.30 बजे 5 सदस्यीय टीम अस्पताल पहुंची. इसमें जिला अस्पताल में पदस्थ हृदय रोग विशेषज्ञ डॉक्टर प्रहलाद पटेल, डॉ. विक्रांत चौहान, डॉक्टर राजेश नामदेव, डॉक्टर प्रशांत सोनी और नायब तहसीलदार रघुनंदन चतुर्वेदी शामिल थे.
कैथ लैब को डॉक्टर विक्रांत चौहान, डॉ राजेश नामदेव और नायब तहसीलदार रघुनंदन चतुर्वेदी के हस्ताक्षर से सील किया गया, वहीं टीम में शामिल जिला अस्पताल के हृदय रोग विशेषज्ञ डॉक्टर प्रहलाद पटेल और डॉ. प्रशांत सोनी ने मिशन अस्पताल के ब्लड बैंक का निरीक्षण किया.
डॉक्टर पटेल ने बताया कि यहां पर सब कुछ ठीक निकला, लेकिन ब्लड बैंक प्रभारी रिटायर्ड डॉक्टर पीसी स्वर्णकार हैं जो मौके पर नहीं मिले. इसे लापरवाही माना जा सकता है. किसी भी तरह की कार्रवाई को लेकर उन्होंने कहा कि रिपोर्ट वरिष्ठ अधिकारियों को सबमिट करेंगे.
उसके बाद ही तय होगा कि आगे क्या कार्रवाई करनी है. जिला अस्पताल के ब्लड बैंक प्रभारी डॉक्टर सोनी ने अस्पताल प्रबंधन से अपनी बातचीत में यह भी नहीं पूछा कि डॉक्टर पीसी स्वर्णकार ब्लड बैंक में कितने समय ड्यूटी देते हैं.
टेंपरेचर मेंटेन नहीं होगा तो मशीन खराब हो जाएगी
वही कैथ लैब सील होने पर मिशन अस्पताल की प्रबंधक पुष्पा खरे का आरोप है कि लैब को सील कर दिया है. करीब 8 मशीनें हैं. टेंपरेचर मेंटेन नहीं होगा तो मशीन खराब हो सकती है.
वहीं दूसरी तरफ पुलिस रिमांड में मौजूद आरोपी डॉक्टर ऐनकेम जॉन उर्फ डॉक्टर नरेंद्र यादव से अभी तक कोई नया खुलासा नहीं हुआ है. पुलिस अधिकारियों का केवल इतना कहना है कि उसने अभी तक जो बताया था वह सब मीडिया के सामने आ चुका है. अब उन सभी बातों का सत्यापन करने के लिए अलग-अलग क्षेत्र में टीम भेजी गई है.
बता दें कि जांच टीम के पास एक फाइल थी, जिसमें लाल अक्षरों में कैथ लैब को सील करने का आदेश लिखा था. मामले में फर्जी डिग्री वाले डॉक्टर ऐनकेम जॉन उर्फ डॉक्टर नरेंद्र यादव को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है. पुलिस ने उसे 5 दिन की रिमांड पर लिया है.
पुलिस पूछताछ में सामने आया कि डॉक्टर ऐनकेम जॉन ने ही सभी हार्ट सर्जरी की थी. उसकी सभी डिग्रियां फर्जी पाई गई हैं. अब प्रशासन मिशन अस्पताल के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई करने की तैयारी में है.