बिहार में खेलों को नई पहचान दे रहे आधुनिक खेल भवन, युवा खिलाड़ी हो रहे लाभांवित

बिहार में खेल प्रतिभाओं को पहचान और मंच देने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम उठाया गया है. मुख्यमंत्री खेल विकास योजना के तहत राज्य के हर जिले में खेल भवन सह व्यायामशाला की स्थापना की जा रही है. यह न केवल खेल गतिविधियों का केंद्र बनेगा, बल्कि उभरते खिलाड़ियों के लिए एक समर्पित और सुसज्जित स्थान भी उपलब्ध कराएगा.

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एक जानकारी के मुताबिक अब तक राज्य के 38 में से 25 जिलों में ये खेल भवन बनकर तैयार हो चुके हैं. 13 जिलों में निर्माण कार्य तेज गति से प्रगति पर है. जिन जिलों में नए भवन बनाए जा रहे हैं, उनमें मुंगेर, कैमूर, बक्सर, सुपौल, बेगूसराय जैसे जिले प्रमुख हैं

प्रत्येक खेल भवन में जिला खेल पदाधिकारी का कार्यालय, 50 सीटों की वातानुकूलित मीटिंग रूम, और उच्च गुणवत्ता वाले जिम उपकरणों से सुसज्जित जिम्नैजियम शामिल होता है. इसके साथ ही खिलाड़ियों की सुविधा के लिए लड़के और लड़कियों के लिए अलग-अलग चेंजिंग रूम, एक बहुउद्देश्यीय हॉल भी होता है, जिसमें ताइक्वांडो, वुशु, फेंसिंग, टेबल टेनिस, वेटलिफ्टिंग, कबड्डी जैसे इनडोर खेलों की प्रशिक्षण और प्रतियोगिताएं आयोजित की जा सकती हैं.

खिलाड़ियों की सुरक्षा, सुविधा और साफ-सफाई को ध्यान में रखते हुए खेल विभाग ने हाल ही में मौजूदा खेल भवनों के लिए 10.26 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की है. इस राशि से आरओ वॉटर प्यूरीफायर, जनरेटर सेट, सीसीटीवी मॉनिटरिंग सिस्टम और साइनबोर्ड्स की स्थापना की जाएगी, जिससे खेल परिसर और अधिक सुरक्षित और उपयोगी बनेंगे.

सीएम नीतीश की दूरदर्शिता का कमाल

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की दूरदर्शिता और प्रतिबद्धता का यह परिणाम है कि अब बिहार के युवा खेलों के क्षेत्र में भी अपनी प्रतिभा से राज्य और देश का नाम रोशन कर सकें. आने वाले वर्षों में ये खेल भवन राज्य के खिलाड़ियों के लिए सपनों की जमीन बनेंगेजहां से निकलकर अनेक राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी उभरेंगे.

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