सऊदी अरब के मक्का में हज के लिए गए 550 से अधिक लोगों की मौत हो गई है. मंगलवार को राजनयिकों ने बताया कि इस साल पड़ रही भयंकर गर्मी के कारण ये मौतें हुई हैं. मरने वालों में सबसे अधिक 323 मिस्र के नागरिक बताए जा रहे हैं.
समाचार एजेंसी AFP से बात करते हुए दो अरब राजनयिकों ने बताया कि अधिकांश मौतों की वजह गर्मी है. एक राजनयिक ने कहा, ‘मिस्र के सभी लोगों के मारे जाने की वजह गर्मी है. बस एक मिस्रवासी की मौत भीड़ की वजह से हुई है. अधिक भीड़ की वजह से उसे गंभीर चोटें लगी और मौत हो गई.’
उन्होंने कहा कि मक्का के नजदीक Al-Muaisem अस्पताल के मुर्दाघर से मरने वालों का आंकड़ा सामने आया है.
राजनयिक ने बताया कि मरने वालों में 60 लोग जॉर्डन से हैं. मंगलवार को जॉर्डन ने मरने वालों की आधिकारिक संख्या 41 बताई थी लेकिन अब इस संख्या में भारी इजाफा हुआ है. वहीं, AFP ने विभिन्न देशों से जो आंकड़ा जमा किया है, उसके मुताबिक, अब मौतों का आंकड़ा बढ़कर 577 हो गया है. वहीं, राजनयिकों ने बताया कि मक्का के सबसे बड़े मुर्दाघर में 550 शव रखे गए हैं. इस साल हज 14 जून को शुरू हुआ था और आज 19 जून को समाप्त हो रहा है.
हज इस्लाम के पांच प्रमुख स्तंभों में से एक हैं. आर्थिक और शारीरिक रूप से सक्षम हर मुसलमान के लिए जीवन में एक बार हज करना अनिवार्य माना जाता है. हज यात्रा जलवायु परिवर्तन के कारण गंभीर रूप से प्रभावित हुई है. पिछले महीने प्रकाशित सऊदी अरब के एक शोध में कहा गया कि हज करने वाले इलाके का तापमान हर दशक 0.4 डिग्री सेल्सियस बढ़ रहा है.
सऊदी के मौसम विभाग ने बताया कि सोमवार को मक्का की ग्रैंड मस्जिद के पास तापमान 51.8 डिग्री सेल्सियस चला गया.
इससे पहले मंगलवार को मिस्र के विदेश मंत्रालय ने कहा था कि मिस्र सऊदी अरब के अधिकारियों के साथ मिलकर एक सर्च ऑपरेशन चला रहा है ताकि उन मिस्रवासियों को खोजा जा सके जो हज के लिए आए और फिर उनका पता नहीं चल पा रहा.
मंत्रालय के बयान में यह बताया कि हज के दौरान कुछ मिस्रवासियों की मौत हुई है. हालांकि, मौतों का कोई आंकड़ा नहीं दिया गया.
सऊदी अधिकारियों ने कहा था कि 2,000 से अधिक लोग हीट स्ट्रोक और भीषण गर्मी की वजह से प्रभावित हुए हैं. लेकिन रविवार के बाद से इस बारे में कोई नया अपडेट सामने नहीं आया है और न ही मौतों को लेकर कोई जानकारी दी गई है. पिछले साल हज के लिए सऊदी अरब पहुंचे 240 लोगों की मौत हुई थी जिसमें अधिकतर इंडोनेशियाई थे.
समाचार AFP के मुताबिक, सोमवार को मक्का के बाहर मीना शहर में गर्मी से परेशान हज यात्री अपने सिर पर बोतलों से पानी उड़ेल रहे थे. वॉलंटियर्स उन्हें कोल्ड ड्रिंक्स और चॉकलेट आइसक्रीम दे रहे थे ताकि गर्मी से उन्हें राहत मिले.
सऊदी अधिकारियों ने हज यात्रियों को सलाह दी है कि वो धूप में छाते का इस्तेमाल करें और खूब पानी पिएं, जब धूप बहुत तेज हो तो बाहर निकलने से बचें. लेकिन हज के दौरान शनिवार को हज यात्री अराफात की पहाड़ी पर गए जहां उन्हें घंटों बाहर चिलचिलाती धूप में रहना पड़ा.
कुछ हाजियों ने बताया कि सड़क किनारे शव पड़े हैं जिन्हें एम्बुलेंस में भरकर अस्पताल ले जाया जा रहा है.
सऊदी अधिकारियों के अनुसार, इस वर्ष लगभग 18 लाख लोगों ने हज किया जिनमें से 16 लाख लोग विदेशों से आए थे.