मां अस्पताल गई, बेटा घर से गायब… हैदराबाद में ‘अपहरण केस’ से बेनकाब हुआ बाल तस्करी गिरोह 

हैदराबाद पुलिस ने मासूम बच्चों के अपहरण और तस्करी में शामिल एक शातिर गिरोह का भंडाफोड़ किया है. इस गिरोह ने पिछले पांच वर्षों में दर्जनों बच्चों को अपना शिकार बनाया था. सोमवार को पुलिस ने कार्रवाई करते हुए गिरोह के चार सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया. उनके चंगुल से छह बच्चे सुरक्षित छुड़ा लिए गए हैं. सभी आरोपियों से पुलिस हिरासत में पूछताछ की जा रही है.

इस मामले का खुलासा तब हुआ जब 26 अगस्त को हैदराबाद के लिंगमपल्ली इलाके में रहने वाली एक महिला ने अपने चार वर्षीय बेटे के लापता होने की शिकायत दर्ज कराई. वो अस्पताल गई थी. इस बीच झोपड़ी से बेटा गायब हो गया. महिला की शिकायत के आधार पर केस दर्ज करने के बाद जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया. पुलिस जांच के दौरान सनसनीखेज खुलासा हुआ.

पुलिस को पता चला कि इस अपहरण के पीछे एक बड़ा गिरोह सक्रिय है. वो लंबे समय से रेलवे स्टेशनों और सुनसान जगहों के आसपास छोटे बच्चों को निशाना बना रहा है. मुख्य आरोपी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया, जो कि एक आयुर्वेदिक स्टोर चलाता था. पुलिस की पूछताछ में उसने पूरे नेटवर्क का खुलासा कर दिया. उसने बताया कि अपहरण के बाद बच्चों को बेचा जाता था.

उसने बच्चों को अपहरण करने के बाद निःसंतान दंपतियों को लाखों रुपए लेकर बेचने की बात कबूल कर ली. पुलिस की जांच में यह भी सामने आया कि कुछ माता-पिता ने खुद अपने नवजात शिशुओं को इस गिरोह के जरिए पैसों के लालच में बेच दिया था. इसमें तीन दिन और एक दिन के शिशु भी शामिल थे. पुलिस ने अब तक एक से पांच वर्ष की उम्र के छह बच्चों को बरामद किया है.

सभी बच्चों को जिला बाल संरक्षण अधिकारी की देखरेख में सुरक्षित रखा गया है. बरामदगी के साथ ही पुलिस ने आरोपियों से करीब पांच लाख रुपए कैश भी जब्त किया है. साइबराबाद पुलिस आयुक्तालय ने इस खुलासे को बड़ी सफलता करार दिया है. अधिकारियों का कहना है कि इस रैकेट की पूरी जड़ तक पहुंचने और अन्य संभावित शिकार बच्चों को बचाने के लिए आगे की जांच जारी है.

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