जगदलपुर। छत्तीसगढ़ में लगातार नक्सल ऑपरेशन जारी है। बीते तीन महीना में जवानों ने 80 नक्सलियों का एनकाउंटर किया है। अब मारे जाने के डर से बस्तर के किस्टाराम और कोंटा एरिया कमेटी में सक्रिय 3 महिला समेत 6 नक्सलियों ने आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम में सरेंडर कर दिया है।
खौफ के चलते बस्तर समेत तीन राज्यों की सरहदी इलाकों में सक्रिय आधा दर्जन नक्सलियों ने बस्तर की बजाए आध्रप्रदेश के विशाखापटनम में समर्पण कर मुख्यधारा में शामिल हो गए। समर्पित नक्सलियों में किस्टाराम एरिया कमेटी सचिव समेत छह शामिल है जिन पर 19 लाख रूपए का ईनाम घोषित था। सोमवार को सुकमा जिले में सक्रिय माओवादी संगठन के 6 नक्सलियों ने विशाखापटनम में डीआईजी व एसपी के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया।
समर्पित नक्सलियों के खिलाफ सुकमा जिले में दर्जनों संगीन मामले दर्ज है। पड़ोसी राज्य आंध्रप्रदेश के अल्लूरी सीतारामाराजू जिले में आयोजित पत्रवार्ता में विशाखापट्टनम रेंज के डीआईजी विशाल गुन्नी व अल्लूरी सीतारामाराजू जिला के एसपी तुहिन सिन्हा ने बताया कि विगत कई वर्षों से सक्रिय कई बड़े नक्सली घटनाओं में शामिल नक्सलियों ने आत्मसमर्पण कर दिया है।
डीआईजी ने कहा कि, माओवाद संगठन में लगातार बढ़ते दबाव के चलते अपनी सुरक्षा को ध्यान देते हुए छह टॉप नक्सलियों ने पड़ोसी राज्य आंध्रप्रदेश के अल्लूरी सीतारामाराज् जिले में समर्पण किया है। समर्पित नक्सलियों पर छत्तीसगढ़ शासन द्वारा लाखों का ईनाम घोषित था। इनके आत्मसमर्पण से माओवादी पार्टी पर बहुत प्रभाव पड़ेगा साथ ही ग्राम स्तर के माओवाद संगठन अब कमजोर निष्क्रय हो जाएंगी। साथ ही इसका असर अब आंध्रप्रदेश, तेलंगाना व छत्तीसगढ़ की सीमाओं में पड़ेगा और आगामी आंध्रप्रदेश व तेलंगाना में होने वाले चुनाव भी शांतिपूर्ण होने के आसार है।