न्यूयॉर्क सिटी मेयर पद के उम्मीदवार और फिल्मकार मीरा नायर के बेटे जोहरान ममदानी अपने एक पुराने विवादित बयान को लेकर घिर गए हैं। हाल ही में वायरल हो रहे एक वीडियो में ममदानी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर तीखा हमला करते हुए, 2002 के गुजरात दंगों के लिए उन्हें जिम्मेदार ठहरा रहे हैं और गुजरात में मुसलमानों की जनसंख्या को लेकर झूठे और भड़काऊ दावे करते दिखाई दे रहे हैं।
33 वर्षीय जोहरान ममदानी अमेरिका में पहले मुस्लिम मेयर बनने की दौड़ में शामिल हैं और डेमोक्रेटिक प्राइमरी के अहम चेहरे बनकर उभरे हैं। लेकिन उनके पुराने भाषण ने अब उनकी उम्मीदवारी को विवादों में डाल दिया है।
वीडियो में ममदानी यह कहते नजर आते हैं कि—
“2002 में इतने मुसलमान मारे गए कि अब लोग मानते ही नहीं कि वहां (गुजरात) हम मुसलमान रहते हैं।”
उन्होंने यह टिप्पणी 2023 में डेमोक्रेटिक प्राइमरी के एक कार्यक्रम के दौरान की थी। इस दौरान जब उनसे पूछा गया कि क्या वे पीएम मोदी की न्यूयॉर्क यात्रा के दौरान उनके साथ मौजूद रहेंगे, तो उन्होंने मोदी की तुलना इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से करते हुए उन्हें ‘war criminal’ यानी युद्ध अपराधी तक कह डाला।जोहरान ममदानी के दावों को भारत ही नहीं, बल्कि अमेरिका में भी तथ्यों से परे और भ्रामक बताया जा रहा है।2011 की भारत की जनगणना के अनुसार, गुजरात में मुसलमानों की संख्या 60 लाख (लगभग 10%) से अधिक है। आज यह आंकड़ा बढ़कर 68 लाख के पार हो चुका है।भारत के सुप्रीम कोर्ट ने भी 2002 के दंगों के मामलों में प्रधानमंत्री मोदी को क्लीन चिट दी थी।
इस विवादित वीडियो के सामने आने के बाद, न्यूयॉर्क में रहने वाले भारतीय-अमेरिकी समुदाय के लोगों ने ममदानी की नीयत और नैतिकता पर सवाल उठाए हैं।
🔹 वरिष्ठ कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी ने ट्वीट किया:
“जब जोहरान ममदानी मुंह खोलते हैं, तो पाकिस्तान की PR टीम छुट्टी पर चली जाती है। भारत को ऐसे दुश्मनों की ज़रूरत नहीं है जो न्यूयॉर्क से झूठ फैला रहे हैं।”
🔹 न्यूयॉर्क की एक लिबरल भारतीय-अमेरिकी प्रोफेसर इंदु विश्वनाथन ने ममदानी को आड़े हाथों लेते हुए कहा:
“वो बेशर्मी से झूठ बोलते हैं क्योंकि उन्हें इनाम मिलता है। उनके झूठ एक नैरेटिव बनाते हैं जिससे वो मेयर बन सकें।”
🔹 भू-राजनीतिक रणनीतिकार सिद्धार्थ ने भी X (पूर्व ट्विटर) पर लिखा:
“गुजरात में 68 लाख से अधिक मुसलमान रहते हैं, ऐसे झूठ न केवल भ्रामक हैं, बल्कि समुदाय का अपमान भी हैं।”
राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि जोहरान ममदानी ने जानबूझकर मुस्लिम कार्ड खेलने की कोशिश की है, जो न्यूयॉर्क की राजनीति में एक संवेदनशील मुद्दा है। लेकिन भारत से जुड़ी गलत जानकारी और प्रोपेगैंडा फैलाकर उन्होंने न केवल गुजरात की मुस्लिम आबादी का अपमान किया है, बल्कि दो देशों के समुदायों के बीच गलतफहमियां भी पैदा करने की कोशिश की है।एक ओर जहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की प्रतिष्ठा बढ़ा रहे हैं, वहीं दूसरी ओर उनके खिलाफ झूठे आरोप लगाकर चुनावी लाभ उठाने का प्रयास किया जा रहा है।
जोहरान ममदानी की इस बयानबाज़ी ने यह सवाल खड़ा कर दिया है कि —
“क्या अमेरिका की राजनीति में भारत विरोध एक नया ट्रेंड बन रहा है?”