ईरान (Iran) की सेना ने इजरायल पर जवाबी हमले शुरू कर दिए हैं. ईरान ने शुक्रवार देर रात इजरायल की ओर सैकड़ों बैलिस्टिक मिसाइलें और ड्रोन दागे. यह तेहरान के द्वारा ‘ऑपरेशन ट्रू प्रॉमिस’ नाम दिए गए अभियान की शुरुआत है. एजेंसी के मुताबिक, यरूशलम में धमाके की कई आवाजें सुनी गई हैं, जिसके बाद सायरन बजने लगे. ईरान रिवोल्यूशनरी गार्ड्स ने इज़रायल में दर्जनों ठिकानों पर हमलों की पुष्टि की है. ईरान ने पुष्टि की है कि इज़रायल पर मिसाइलें दागी गई हैं. मिसाइल हमले के बाद मध्य इज़राइल में कई लोग घायल हुए हैं. Tehran Times के मुताबिक, ईरान ने एक इजरायली पायलट के पकड़े जाने की पुष्टि की है.
150 से ज्यादा मिसाइलें…
ईरानी मिसाइलें तेल अवीव पर लगातार हमला कर रही हैं. ईरानी मीडिया के मुताबिक, 150 से ज्यादा मिसाइलें दागी गई हैं. रिपोर्ट के मुताबिक, नौ जगहों पर हादसा होने की जानकारी मिली है, जिनमें करीब 15 लोग घायल हुए हैं, जिनमें से ज्यादातर की हालत ठीक है.
यह हमला हाल ही में इजरायल द्वारा किए गए हवाई हमलों के सीधे जवाब में किया गया है, जिसमें ईरान के प्रमुख सैन्य और परमाणु बुनियादी ढांचे को निशाना बनाया गया था.
ट्रंप और नेतन्याहू की फोन पर बातचीत…
व्हाइट हाउस के अधिकारी ने बताया कि इजरायल-ईरान संघर्ष के बीच डोनाल्ड ट्रंप और नेतन्याहू ने फोन पर बात की.
Times of Israel की रिपोर्ट के मुताबिक, व्हाइट हाउस के एक अधिकारी ने पुष्टि की है कि प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से फोन पर बात की. यह दो दिनों में उनकी दूसरी कॉल है, जबकि इजरायल ने ईरान पर जबरदस्त हमला किया है और तेहरान ने जवाबी कार्रवाई में दो बैलिस्टिक मिसाइलें दागी हैं.
ईरान ने हमले के बाद क्या कहा?
इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (IRGC) ने बयान जारी करते हुए कहा, “इस्लामिक रिपब्लिक ऑफ ईरान के अंदर के इलाकों पर बर्बर, आतंकवादी और बच्चों की हत्या करने वाले ज़ायोनी शासन द्वारा आज सुबह किए गए आक्रमण और आपराधिक हमले के जवाब में ईरानी की रक्षात्मक और आक्रामक शाखा के रूप में इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स ने एक सशक्त और सटीक जवाबी कार्रवाई शुरू की है.”
IRGC ने बयान में आगे कहा, “अल्लाह की ताकत पर यकीन करते हुए, कमांडर-इन-चीफ के नेतृत्व और ईरानी लोगों की एकजुट मांग और समर्थन के साथ, IRGC ने दर्जनों टारगेट्स के खिलाफ ऑपरेशन ‘ट्रू प्रॉमिस 3’ को अंजाम दिया है, जिसमें कब्जे वाले इलाकों में ज़ायोनी शासन के सैन्य केंद्र और हवाई अड्डे शामिल हैं.”
बयान में आगे कहा गया कि ईद अल-ग़दीर की पवित्र रात को पवित्र आह्वान ‘ओ अली इब्न अबी तालिब (एएस)’ के साथ ऑपरेशन शुरू किया गया था. इस ऑपरेशन की आगे की जानकारी आगे बताई जाएगी.
ईरान ने क्या कहा?
ईरान के सुप्रीम लीडर अली खामेनेई के सोशल मीडिया हैंडल से जारी किए गए बयान में कहा गया, “ईरानी लोग हमारे साथ हैं. वे सशस्त्र बलों का समर्थन करते हैं और अल्लाह की रहमत से इस्लामी गणतंत्र ज़ायोनी शासन पर फतह हासिल करेगा. यह निश्चित है कि इस्लामी गणराज्य की सशस्त्र सेनाएं इस दुष्ट ज़ायोनी दुश्मन को भारी नुकसान पहुंचाएंगी. ज़ायोनी शासन अपने द्वारा किये गए जघन्य अपराध से सुरक्षित बच नहीं पाएगा.”
इजरायली हमले में महिलाओं-बच्चों की हुई थी मौत
ईरानी सरकारी मीडिया ने कहा कि यह ऑपरेशन मेजर जनरल मोहम्मद बाघेरी, आईआरजीसी प्रमुख मेजर जनरल होसैन सलामी और आईआरजीसी एयरोस्पेस कमांडर ब्रिगेडियर जनरल आमिर अली हाजीजादेह सहित कई बड़े ईरानी अधिकारियों की हत्या का बदला था. इजरायली हमलों में कथित तौर पर चार परमाणु वैज्ञानिकों और महिलाओं और बच्चों सहित कई नागरिकों की भी जान चली गई थी.
‘बहुत बड़ी गलती…’
ईरान के सुप्रीम लीडर अली खामेनेई के सोशल मीडिया हैंडल से जारी किए गए बयान में कहा गया, “ज़ायोनी शासन ने एक बहुत बड़ी गलती की है, एक गंभीर भूल की है और एक लापरवाह कार्य किया है. अल्लाह की रहमत से इसके नतीजे उस शासन को बर्बाद कर देंगे.”
इरानी सेना की तरफ से सोशल मीडिया पर पोस्ट भी किया गया, जिसमें हवा में मिसाइलें देखी जा सकती हैं.
इजरायल ने क्या कहा?
ईरान की तरफ से मिसाइल लॉन्च किए जाने के बाद इजरायली सेना ने बयान जारी करते हुए कहा, “कुछ समय पहले, IDF ने ईरान से इजराइल की तरफ दागी गई मिसाइलों की पहचान की थी. खतरे को रोकने के लिए डिफेंस सिस्टम काम कर रहे हैं. जनता को निर्देश दिया गया है कि वे सुरक्षित स्थान में प्रवेश करें और अगली सूचना तक वहीं रहें. सुरक्षित स्थान को केवल स्पष्ट निर्देश के बाद ही छोड़ा जा सकता है. होम फ्रंट कमांड के निर्देशों का पालन करना जारी रखें.”
इजरायल के रक्षा मंत्री इजरायल काट्ज ने कहा, “ईरान ने इजरायल में नागरिक आबादी वाले केंद्रों पर मिसाइल दागने की हिम्मत करके लाल रेखाएं पार कर ली हैं. हम इजरायल के नागरिकों की रक्षा करना जारी रखेंगे और यह सुनिश्चित करेंगे कि अयातुल्ला शासन को अपने आपराधिक कृत्यों के लिए बहुत भारी कीमत चुकानी पड़े.”