पतंजलि विज्ञापन केस में आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही है. जस्टिस हिमा कोहली और जस्टिस अमानतुल्लाह की बेंच में पतंजलि की ओर से एडवोकेट मुकुल रोहतगी ने कहा- हमने माफीनामा फाइल कर दिया है. इसे 67 अखबारों में पब्लिश किया गया है.
इस पर जस्टिस हिमा कोहली ने कहा- आपके विज्ञापन जैसे रहते थे, इस ऐड का भी साइज वही था? कृपया इन विज्ञापनों की कटिंग ले लें और हमें भेज दें. इन्हें बड़ा करने की जरूरत नहीं है. हम इसका वास्तविक साइज देखना चाहते हैं. ये हमारा निर्देश है.
जस्टिस कोहली ने कहा कि जब आप कोई विज्ञापन प्रकाशित करते हैं तो इसका मतलब यह नहीं कि हम उसे माइक्रोस्कोप से देखेंगे. सिर्फ पन्ने पर न हो पढ़ा भी जाना चाहिए.
कोर्ट ने रामदेव और बालकृष्ण को निर्देश दिया कि अगले दो दिन में वे ऑन रिकॉर्ड माफीनामा जारी करें, जिसमें लिखा हो कि उन्होंने गलती की. मामले की अगली सुनवाई अब 30 अप्रैल को होगी.
पतंजलि आयुर्वेद ने सोमवार (22 अप्रैल) को कुछ न्यूज पेपर्स में माफीनामा प्रकाशित किया है. इसमें कहा कि पतंजलि आयुर्वेद सुप्रीम कोर्ट का पूरा सम्मान करता है. सुप्रीम कोर्ट में हमारे वकीलों ने हलफनामा पेश किया, उसके बाद हमने विज्ञापन प्रकाशित किया और प्रेस कॉन्फ्रेंस की. हम इसके लिए माफी मांगते हैं. भविष्य में कभी ऐसी गलती नहीं दोहराएंगे.