राजगढ़ : 5 साल की सबसे बड़ी बरामदगी, ऑपरेशन स्ट्राइकर से कांपे अपराधी

राजगढ़ : जिले की पुलिस को एसपी आदित्य मिश्रा के नेतृत्व में एक बड़ी सफलता हाथ लगी है.“ऑपरेशन स्ट्राइकर” नामक अभियान के तहत पुलिस ने 30 करोड़ 78 लाख 68 हजार रुपये की चोरी के मामले में अहम खुलासा करते हुए अपराधियों की धरपकड़ की.यह अभियान न केवल पुलिसिंग के लिहाज से बल्कि सामाजिक बदलाव की दृष्टि से भी ऐतिहासिक बन गया है.

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समंदर किनारे चला मैनहंट, 186 पुलिसकर्मियों की थी तैनाती

राजगढ़ पुलिस ने इस ऑपरेशन को दोपहर 3 बजे से शाम 5 बजे तक शुरू किया, जो पूरी रात चलता रहा.186 सिपाहियों की टीम ने ताबड़तोड़ छापेमारी कर अपराधियों की गिरफ्तारी सुनिश्चित की.अपराधियों की धरपकड़ के लिए पुलिस ने समंदर किनारे तक अभियान चलाया और एक-एक संदिग्ध को निशाने पर लिया.

22 लोगों ने किया आत्मसमर्पण, अपराध छोड़ने का लिया संकल्प

इस अभियान के दौरान गुलखेड़ी, हुलखेड़ी और कड़िया ग्रामों से 22 लोगों ने आत्मसमर्पण किया.उन्होंने न केवल भविष्य में अपराध से दूर रहने का संकल्प लिया बल्कि समाज की मुख्यधारा में लौटने का भी निर्णय किया.यह आत्मसमर्पण बोड़ा थाना क्षेत्र के ग्राम कड़िया में आयोजित विशेष कार्यक्रम में हुआ, जहां पुलिस और समाजसेवियों की मौजूदगी में सभी ने ईमानदारी से जीवन जीने की शपथ ली.

आत्मसमर्पण करने वालों में ये नाम प्रमुख

आत्मसमर्पण करने वाले अपराधियों में राजेश पिता कुमार दास, रामदास पिता पोर्टफोलियो लाल, राजकुमारी पत्नी गोकुल प्रसाद, राजकुमार पिता लखपत सिंह, मोहित पति मिर्जा, कलावती पत्नी बांडरी, शारदा पत्नी रामरामर, अनुराधा पत्नी नवीन, राकेश पिता कमल सिंह, जतिन पिता राजकुमार, विनोद पिता कमल सिंह, मलखान पिता रामप्रसाद, प्रेम किशोर पिता रामप्रसाद, श्याम पिता लखपत, जानी पिता लाखन, अजब सिंह पिता साजन, रिंकी पिता अजब सिंह, शिलाबाई पत्नी हरी नाम, सुखबीर पिता शेर सिंह, और बंटी पिता मित्र शामिल हैं। ये सभी लोग गुलखेड़ी, हुलखेड़ी और कड़िया गांवों के निवासी हैं.

 

सामाजिक पुनर्वास की दिशा में बड़ा कदम

इस आत्मसमर्पण कार्यक्रम में अनुयायी मोहन शर्मा भी शामिल रहे.उन्होंने इस अवसर पर कहा, “जरूरी नहीं कि पेट पालने के लिए चोरी की जाए.मेहनत और ईमानदारी से भी अपने बच्चों का भविष्य संवारा जा सकता है.”

राजगढ़ प्रशासन ने अब इन लोगों को कौशल विकास और प्रशिक्षण कार्यक्रमों से जोड़ने की प्रक्रिया शुरू कर दी है, जिससे वे आत्मनिर्भर बन सकें और अपराध की दुनिया से पूरी तरह दूर हो सकें.

एसपी आदित्य मिश्रा का बयान

राजगढ़ के पुलिस अधीक्षक आदित्य मिश्रा ने कहा, “हमारा उद्देश्य केवल गिरफ्तारी तक सीमित नहीं है, बल्कि समाज में अपराधियों के पुनर्वास और उनके नामांकन की दिशा में भी कार्य किया जा रहा है.भविष्य में भी ऐसे आपराधिक गिरोहों के खिलाफ सख्त कार्रवाई जारी रहेगी.”

प्रशासन और समाज दोनों की संयुक्त पहल

इस अभियान की सराहना मध्य प्रदेश शासन के कौशल विकास एवं रोजगार विभाग के मंत्री गौतम टेटवाल ने भी की.उन्होंने वीडियो संदेश के जरिए इस ऑपरेशन की प्रशंसा की और कहा कि यह पहल समाज में सकारात्मक बदलाव लाने वाला कदम है.

 

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