अयोध्या और राम मंदिर के कारण उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था लगातार तेजी से बढ़ रही है. हाल ही में अप्रैल 2024 में सरकारी खजाने में 12,290 करोड़ रुपये आए. दरअसल, 12,290 करोड़ के कलेक्शन के साथ महाराष्ट्र, कर्नाटक और गुजरात के बाद GST कलेक्शन में चौथा सबसे बड़ा राज्य उत्तर प्रदेश बन गया. इसके पीछे राम मंदिर और पर्यटन का सबसे बड़ा योगदान है.
अयोध्या में राम मंदिर बनने के बाद से रिकॉर्ड पर्यटक रामलला के दर्शन करने के लिए लगातार अयोध्या जा रहे हैं. इसी बीच अप्रैल 2024 में देश में रिकॉर्ड 2.10 लाख करोड़ रुपये का GST कलेक्शन आया है. इसमें खास बात है कि उत्तर प्रदेश ने 19 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज करते हुए मंथली कलेक्शन में तमिलनाडु को भी पछाड़ दिया है.
रिकॉर्ड GST कलेक्शन के में अयोध्या में राम मंदिर का बड़ा योगदान रहा क्योंकि, जनवरी में राम मंदिर के उद्घाटन के बाद राज्य पर्यटन में काफी वृद्धि हुई है. राज्य में राम मंदिर बनने के बाद से पर्यटकों में काफी इजाफा है, जिस कारण सरकार का खजाना भी भर गया है.
GST कलेक्शन के मामले में देश में सबसे ज्यादा फैक्ट्री वाला राज्य तमिलनाडु 5वें स्थान पर खिसक गया. अप्रैल 2023 में तमिलनाडु का GST कलेक्शन 11,559 करोड़ रुपये था जबकि उत्तर प्रदेश का 10,320 करोड़ रुपये था. टैक्स चोरी पर अंकुश लगाने के लिए मजबूत कदमों से लेकर इंफ्रास्ट्रक्चर पर आक्रामक खर्च की बदौलत उत्तर प्रदेश के GST कलेक्शन में यह वृद्धि देखने को मिली है.
अयोध्या में राम मंदिर के पूरा होने और विभिन्न पहलों को देखते हुए, UP में पर्यटकों (घरेलू और विदेशी) का कुल वार्षिक खर्च 2025 के अंत तक 4 लाख करोड़ रुपये को पार कर सकता है, जिससे राज्य को वित्त वर्ष 2025 में 20,000-25,000 करोड़ रुपये का अतिरिक्त टैक्स रेवेन्यू मिल सकता है. 21 जनवरी को जारी SBI रिसर्च की एक रिपोर्ट के अनुसार, राज्य सरकार ने पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए यह कदम उठाया है.
मनीकंट्रोल की रिपोर्ट के मुताबिक, अयोध्या में राम मंदिर के आसपास धार्मिक यात्रा बढ़ने से बहुत अधिक ट्रैफ़िक देखने को मिला. जिसके चलते बड़े पैमाने पर होटल और ट्रैवल के लिए भुगतान किया गया. पिछले कुछ महीनों में इससे GST राजस्व में 200-300 करोड़ रुपये आए हैं. PWC के इंदिरेक्ट टैक्स पार्टनर जैन के अनुसार, पूंजीगत व्यय पर UP का ध्यान उसके राजस्व को बढ़ा सकता है.