Sambhal Report: संभल हिंसा की रिपोर्ट पर सपा ने सरकार को घेरा, मौलाना रशीदी ने भी उठाए सवाल, कहा- फिर भड़क सकते हैं दंगे

यूपी के संभल की डेमोग्राफी पर चौंकाने वाली रिपोर्ट आई है. ये रिपोर्ट उस न्यायिक आयोग ने दी है जिसका गठन बीते साल संभल में हुई हिंसा के बाद हुआ था. रिपोर्ट के मुताबिक, संभल में महज 15 फीसदी हिंदू बचे हैं, बाकी पलायन कर गए हैं. जबकि नगर पालिका में आजादी के बाद 45% हिंदू थे. रिपोर्ट आने के बाद इस पर सियासत भी तेज हो गई है. इस पर सपा प्रवक्ता फकरुल हसन चांद का बयान आया है. उन्होंने कहा, वसीम बरेलवी जी की दो पत्तियां हैं- ‘फैसला लिखा रखा है पहले से खिलाफ, तो आप क्या खाक सफाई देंगे’. भाजपा सरकार में संभल हिंसा की गोपनीय रिपोर्ट मुख्यमंत्री को सौंपी जाती है. कमेटी के लोग गोपनीय रिपोर्ट मीडिया के सामने रखते हैं.

हसन चांद आगे कहते हैं, कमेटी के हेड मीडिया के सामने चर्चा करते हैं कि रिपोर्ट में क्या लिखा है लेकिन रिपोर्ट गोपनीय है. उस गोपनीय रिपोर्ट में क्या लिखा हुआ है, सूचना विभाग बताता है कि क्या चलाना क्या नहीं चलाना है. ऐसी गोपनीय रिपोर्ट के बारे में जनता जानती है. ऐसी गोपनीय रिपोर्ट सिर्फ मुद्दों से ध्यान भटकाने के लिए आती है. रिपोर्ट को लेकर मौलाना साजिद रशीदी ने भी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा कि संभल दंगे की रिपोर्ट पक्षपातपूर्ण है. फिर दंगे भड़क सकते हैं.

मौलाना ने कहा, संभल हिंसा पर मुख्यमंत्री योगी ने एक कमेटी बनाई थी. इस कमेटी ने आज अपनी रिपोर्ट सौंपी है. रिपोर्ट में कहा गया कि पहले यहां 45% हिंदू थे और अब 15% रह गए हैं. लोगों ने दंगों की वजह से पलायन किया है, यह बॉयस रिपोर्ट है. आपको याद होगा वहां मंदिर के ऊपर जो विवाद हुआ था, कहा गया था कि ढक दिया गया, उसकी दीवारें खड़ी कर दी गईं, मंदिर के पुजारी ने और मुतवल्ली ने सामने आकर कहा नहीं हमें किसी ने यहां से नहीं भेजा. जाने पर मजबूर नहीं किया.

उन्होंने कहा, हम अपने काम की वजह से दूसरी जगह सेट हो गए हैं. हम दंगों की वजह से या किसी के डराने धमकाने की वजह से नहीं गए. ऐसी तमाम बातें सामने आने के बावजूद इस तरह की रिपोर्ट पेश करना, मैं समझता हूं कि यह दंगा और नफरत फैलाने के लिए है. इसकी वजह से फिर संभल में दंगे भड़केंगे फिर हिंदू-मुसलमान होगा. जहां भी जो भी आदमी कारोबार की वजह से दूसरी जगह जाकर सेट होता है तो वह कारोबार के लिए सेट होता है. दंगों की वजह से नहीं.

मुख्यमंत्री को चाहिए कि दोबारा जांच कराएं

मौलाना ने कहा कि आप दिल्ली में देख लीजिए लाखों करोड़ों लोग दूसरे स्टेट से आकर के यहां बस गए हैं. वह सिर्फ इस वजह से आए हैं उनके यहां काम सेट हो गया. दो पैसे की आमदनी हो गई. उनके इलाके में रोजगार या कारोबार नहीं था. 80% लोगों ने घर भी यही बना लिए. यह सब दंगों की वजह से नहीं आए, यह सब लोग अपने कारोबार की वैसे यहां पर आए हैं. इसलिए कह देना कि वह दंगे की वजह से आए हैं, मैं समझता हूं कि यह गलत है. हम इस रिपोर्ट को सही नहीं मानते. मुख्यमंत्री योगी को चाहिए इस पर दोबारा जांच कराएं. जिन लोगों ने रिपोर्ट पेश की है मैं समझता हूं वह उस मानसिकता के लोग हैं जो मानसिकता देश में दंगा फैलाना चाहती है.

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