तेलंगाना सरकार ने राज्य के शहरी क्षेत्रों में पालतू जानवरों के संबंध में महत्वपूर्ण निर्णय लिया है. पालतू कुत्तों को लावारिस छोड़ने या सार्वजनिक स्थानों पर उन्हें शौच करने देने वाले मालिकों पर जुर्माना लगाया जाएगा.
तेलंगाना के नगर निगम प्रशासन आयुक्त और निदेशक (सीडीएमए) की तरफ से ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम (जीएचएमसी) को छोड़कर सभी शहरी स्थानीय निकायों के आयुक्तों को स्वच्छता और सफाई को बढ़ावा देने के उद्देश्य से यह निर्देश जारी किया गया है, जहां इसी तरह के प्रावधान पहले से ही लागू हैं.
नगरपालिका अधिनियम के मुताबिक, अगर पालतू जानवर सार्वजनिक स्थानों पर शौच करते हैं तो उनके मालिक को मल साफ करना चाहिए. ऐसा न करने पर शहरी स्थानीय निकायों में 1,000 रुपये तक का जुर्माना लगाया जाएगा. इस प्रावधान को सख्ती से लागू करने से उन लोगों पर भी अंकुश लगेगा, जो अपने पालतू जानवरों को सड़कों पर छोड़ देते हैं.
निर्देश में कहा गया है कि इस पहल का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि पालतू जानवरों के मालिक जिम्मेदारी से काम करें और सार्वजनिक स्थानों को स्वच्छ बनाए रखें.
नियम के मुताबिक, सार्वजनिक स्थानों पर कुत्तों के शौच करने पर मालिकों को सफाई करनी होगी या 1,000 रुपये तक का जुर्माना भरना होगा.
अगर कोई मालिक अपने पालतू जानवरों को सार्वजनिक स्थानों पर लावारिस छोड़ेंगे, तो उन पर भी जुर्माना लगाया जाएगा.
सभी जिलों में लागू करने का निर्देश
जिला कलेक्टरों और नगर निगम आयुक्तों को उनके संबंधित अधिकार क्षेत्र में इस नियम को तत्काल लागू करने के निर्देश दिए गए हैं. यह पहल शहरी स्वच्छता में सुधार और सार्वजनिक क्षेत्रों में स्वच्छता बनाए रखने के लिए पालतू जानवरों के मालिकों को जवाबदेह बनाने पर सरकार के फोकस को रेखांकित करती है.
अब पालतू कुत्तों द्वारा की गई गंदी के लिए उनके मालिकों को जिम्मेदार ठहराया जाएगा. इसके अलावा, खुले स्थानों पर मल पड़ा रहने से लोगों के स्वास्थ्य को खतरा होता है और सार्वजनिक स्थानों का उपयोग करने वालों को भी असुविधा होती है.