बिलासपुर के यूनिटी हॉस्पिटल में इलाज में लापरवाही के चलते नर्सिंग छात्रा की मौत हो गई। उसके गले की थायराइड गांठ का ऑपरेशन होना था। सर्जरी से पहले उसे एनेस्थेसिया दी गई, जिसके बाद वो कोमा में चली गई।
आरोप है कि अस्पताल प्रबंधन ने न सिर्फ इलाज में लापरवाही बरती बल्कि, परिजन को सच्चाई बताने की जगह 2 दिन तक गुमराह करते रहे। इस दौरान किसी को मरीज से मिलने तक नहीं दिया गया।
आखिरकार, जब छात्रा की मौत हो गई, तब परिजनों को जानकारी दी गई। इससे गुस्साए परिजन ने अस्पताल में जमकर हंगामा किया। साथ ही पुलिस से भी शिकायत कर दी। मामला सिविल लाइन थाना क्षेत्र का है।
नर्सिंग छात्रा थी 21 साल की लड़की
दरअसल, मुंगेली जिले के सिलदहा की रहने वाली किरण वर्मा (21 साल) मोपका शासकीय नर्सिंग कॉलेज में थर्ड ईयर की छात्रा थी। छात्रा के मामा मधुकर वर्मा ने बताया कि, उनकी भांजी को गले में थायराइड की गांठ की शिकायत थी।
इलाज के लिए डॉक्टरों ने सर्जरी की सलाह दी थी। उन्हें सामान्य ऑपरेशन की जानकारी दी गई थी। इस पर 7 मार्च को परिजन किरण को लेकर यूनिटी हॉस्पिटल पहुंचे। सभी जरूरी टेस्ट के बाद उसे शाम को ऑपरेशन के लिए ले जाया गया।
इस दौरान जैसे ही उसे एनेस्थेसिया दिया गया, अचानक उसकी हालत बिगड़ गई। वह झटके के साथ कोमा में चली गई। डॉक्टरों ने आनन-फानन में गले में छेद कर ऑक्सीजन सपोर्ट दिया और उसे आईसीयू में भर्ती कर दिया। इसके बाद अस्पताल प्रबंधन ने परिजन को कोई जानकारी नहीं दी। परिजन बेटी से मिलना चाहते थे, लेकिन उन्हें बाहर ही रखा गया।