बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस मुर्शिदाबाद के हिंसा प्रभावित इलाकों का दौरा कर रहे हैं. आज राज्यपाल सीवी आनंद बोस हिंसा से मारे गए पिता-पुत्र के घर गए. घर वालों से बात की. राज्यपाल ने हिंसा पीडितों से बात की. जबकि कल (शुक्रवार) राज्यपाल मालदा में शेल्टर होम जाकर हिंसा के बाद मुर्शिदाबाद से पलायन करने वाल लोगों से मिले थे. राज्यपाल ने हिंसा प्रभावित मुर्शिदाबाद का दौरा करने के बाद वहां की स्थिति को ‘अजीब और बर्बर’ बताया.
राज्यपाल ने आजतक से बातचीत में बताया कि उन्होंने उन 2 लोगों के परिवार से मुलाकात की, जिनकी भीड़ ने हत्या कर दी थी. उन्होंने परिवार को हरसंभव मदद का आश्वासन दिया और कहा कि वह यह मुद्दा केंद्र सरकार के सामने उठाएंगे.
राज्यपाल ने कहा कि मुझे जो रिपोर्टें मिल रही थीं, वो एक-दूसरे से विरोधाभासी थीं. इसलिए मैं खुद मुर्शिदाबाद आया. जो देखा, वह वाकई चौंकाने वाला था, यह बर्बरता थी. इंसानी व्यवहार का गिरता हुआ स्तर था.
‘लोगों का व्यवस्था से भरोसा उठता जा रहा’
राज्यपाल बोस ने एक बार फिर तृणमूल कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि लोगों का व्यवस्था से भरोसा उठता जा रहा है. पहले चुनावों के दौरान हिंसा होती थी, अब यह आम हो गई है. एक वर्ग दूसरे पर अपनी ताकत थोपने की कोशिश कर रहा है, यह उग्र राष्ट्रवाद का सबसे खराब रूप है.
‘मैं अपनी रिपोर्ट केंद्र सरकार को दूंगा’
राज्यपाल ने कहा कि स्थानीय लोगों ने अपनी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अपनी मांगें रखी हैं. बोस ने कहा कि मैं अपनी रिपोर्ट केंद्र और राज्य सरकार के साथ साझा करूंगा. फिलहाल इसे सार्वजनिक नहीं किया जा सकता. शनिवार को दौरे के दूसरे दिन बोस ने शमशेरगंज, धूलियन, सूती और जंगीपुर का दौरा किया. इस दौरान बड़ी संख्या में हिंसा से प्रभावित लोगों ने स्थायी BSF कैंप की मांग को लेकर बैनर लहराए.
क्या है मामला?
मुर्शिदाबाद और दक्षिण 24 परगना के कई इलाकों में वक्फ कानून के विरोध में हुई हिंसा में तीन लोगों की मौत हो गई थी. हिंसा में हिंदुओं के कई घरों में तोड़फोड़ की गई, जिससे उन्हें पड़ोसी मालदा के राहत शिविरों में शरण लेनी पड़ी.