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राजस्थान में बजरी माफियाओं का कहर: पहले तीन गौमाताओं को कुचला, विरोध करने पर युवाओं को भी रौंदने की कोशिश…ग्रामीणों का उग्र विरोध

डीडवाना-कुचामन: जिले के नावां क्षेत्र के ग्राम उलाणा में अवैध बजरी माफियाओं का कहर देखने को मिला. गांव में एक बजरी से भरा डंपर तीन गौमाताओं को कुचलता हुआ जब आगे बढ़ा, तो कुछ युवाओं ने उसे रोकने का प्रयास किया. लेकिन बेखौफ डंपर चालक ने उन पर ही डंपर चढ़ाने की कोशिश की. गांव के तीन युवक इस हमले में गंभीर रूप से घायल हो गए. ग्रामीणों ने तत्काल उन्हें नावां के उप जिला अस्पताल में पहुंचाया, जहां चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार किया.

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घटना से आक्रोशित ग्रामीणों ने न केवल अस्पताल परिसर में विरोध-प्रदर्शन किया, बल्कि पुलिस प्रशासन पर बजरी माफियाओं को संरक्षण देने के गंभीर आरोप भी लगाए हैं. ग्रामीणों का कहना है कि उन्होंने घटना की सूचना नावां थाने के प्रभारी और एसडीएम को देने की कोशिश की, लेकिन दोनों ने फोन तक रिसीव नहीं किया. घटना की सूचना मिलते ही नावां थाना प्रभारी नन्दलाल चौधरी अस्पताल पहुंचे और घायलों से घटना की जानकारी ली.

दूसरी ओर उलाणा गांव में ग्रामीणों ने सड़क पर जाम लगाकर आरोपी डंपर चालक की गिरफ्तारी और कठोर कार्रवाई की मांग की. ग्रामीणों का कहना है कि उलाणा से प्रतिदिन सैकड़ों की संख्या में अवैध बजरी से भरे डंपर बिना किसी रोकटोक के गुजरते हैं. लेकिन प्रशासन और  विभाग मानो आंखें मूंदे बैठे हैं.

आज की घटना ने यह भी साफ कर दिया है कि बजरी माफियाओं को न सिर्फ राजनीतिक, बल्कि प्रशासनिक संरक्षण भी प्राप्त है. तीन गौमाताओं की निर्मम हत्या और तीन युवाओं को रौंदने की कोशिश से पूरा गांव आक्रोश में है. ग्रामीणों का आक्रोश इस बात का संकेत है कि अब सब्र का बांध टूट चुका है. देखना होगा कि प्रशासन कब जागता है और दोषियों पर क्या कार्रवाई होती है.

 

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