वडोदरा: टूटे पुल पर 24 दिनों से लटका है टैंकर, उतारने के लिए सिंगापुर से आए इंजीनियर… पहली बार होगा एयर बैलून तकनीक का इस्तेमाल

गुजरात के वडोदरा जिले के पादरा इलाके में 9 जुलाई को एक पुल हादसे में 21 लोगों की जान चली गई थी. इस हादसे में पुल बीच से टूटकर कई फीट नीचे गहरी नदी में गिर गया था. इस दौरान यहां से गुजर रही गाड़ियां सहित लोग नदी में डूब गए. हालांकि, एक टैंकर बीच में लटका गया था, जिसे 24 दिन बीत जाने के बाद भी अधिकारी हटा नहीं पाए है. अब इस हटाने के लिए एयर बैलून तकनीक का इस्तेमाल किया गया जाएगा. इसके लिए सिंगापुर से तीन इंजीनियर्स बुलाए गए हैं.

वडोदरा के पादरा इलाके में पुल पर लटके टैंकर को हाटने की कवायद तेज हो गई है. 24 दिनों बीत जाने के बाद भी अधिकारी इस टैंकर को हटा नहीं पाए हैं. अब इसे हटाने के लिए एयर बैलून तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा. यह अभियान सिंगापुर के तीन इंजीनियर्स और एक समुद्री आपातकालीन टीम चलाएगी. पहला गुब्बारा टैंकर के पास लाया गया. सभी सुरक्षा और तकनीकी उपकरण भी साथ ले जाए गए.

एयर लिफ्टिंग बैलून तकनीक

टैंकर के पीछे लंबी रस्सियां भी तैयार कर ली गई हैं. अन्य खाली गुब्बारे भी अतिरिक्त रूप से तैयार कर लिए गए हैं. आपको बता दें कि टैंकर को उतारने में किसी भी क्रेन का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा. बल्कि, पहली बार एयर लिफ्टिंग बैलून तकनीक का इस्तेमाल कर पुल पर लटके टैंकर को बहुत ही सावधानी से नीचे उतारा जाएगा. इस तकनीक के तहत, हवा से भरे विशेष प्रकार के गुब्बारे को मोटी ट्यूब से बांधकर टैंकर को ऊपर उठाया जाएगा.

सिंगापुर के बुलाए गए 3 इंजीनियर

इस ऑपरेशन के दौरान पूरी सुरक्षा व्यवस्था रखी जाएगी और पूरा ऑपरेशन विशेषज्ञों की निगरानी में किया जाएगा. टैंकर को उतारने की सभी कोशिशें नाकाम होने के बाद, सरकार अब बैलून तकनीक का सहारा ले रही है. भारी मशीनरी का इस्तेमाल खतरनाक है, इसलिए पोरबंदर की विश्वकर्मा कंपनी को इस काम का ठेका दिया गया है, जो कि बैलून तकनीक से यह काम पूरा करेगी. इसके लिए उन्होंने सिंगापुर से तीन इंजीनियर बुलाए गए हैं. इस काम को पूरा होने में 6 से 7 दिन लग सकते हैं.

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