कोई व्यक्ति धर्मनिरपेक्ष हो ही नहीं सकता अगर कोई कहता है तो वह बकवास कर रहा है… ये कहना है बीजेपी सांसद साक्षी महाराज का. उन्होंने भारतीय संविधान से ‘सेकुलर’ और ‘सोशलिस्ट’ शब्दों को हटाने की मांग की. उन्होंने इसे देश के साथ अन्याय बताया. सांसद का कहना है कि कि जैसे आंख का धर्म देखना और कान का धर्म सुनना है, वैसे ही इंसान का भी एक धर्म होता है.
उन्नाव स्थित अपने कैंप कार्यालय में जनता दर्शन के दौरान सांसद साक्षी महाराज ने मीडिया से बात करते हुए कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर बड़ा बयान दिया है. वहीं इटावा घटना का कड़ा विरोध दर्ज कराते हुए अखिलेश यादव को जातिवाद की राजनीति न करने की नसीहत दी. देश के संविधान से दो शब्द सेकुलर व सोशलिस्ट हटाए जाने पर बीजेपी सांसद साक्षी महाराज ने दो टूक कहा कि यह संवैधानिक प्रक्रिया है. उन्होंने कहा ‘मैं एक धर्माचार्य हूं, दुनिया का बड़े से बड़े विद्वान मुझसे बहस कर ले, धर्मनिरपेक्ष हो ही नहीं सकता यह सब बकवास है . संविधान का अन्याय है, पाप है. आंख का धर्म है देखना, कान का धर्म है सुनना, नाक का धर्म है सांस लेना क्या ये अपना धर्म भूल सकते हैं, अग्नि क्या अपना धर्म भूल सकती है’.
‘धर्मनिरपेक्ष शब्द देश को बर्बाद करने के लिए जोड़ा’
इसके आगे उन्होंने कहा ‘ मैं जब से राजनीति में नहीं था तब से धर्मनिरपेक्ष का विरोध कर रहा हूं. सांसद ने कहा कि कोई व्यक्ति धर्मनिरपेक्ष हो ही नहीं सकता अगर कोई कहता है तो वह बकवास कर रहा है. धर्मनिरपेक्ष शब्द देश को बर्बाद करने के लिए जोड़ा गया’.
‘जातिवाद का जहर घोलकर राजनीति करते हैं’
इसके साथ ही इटावा घटनाकांड पर उन्होंने कहा कि अखिलेश यादव और उनकी पार्टी के दिमाग में जातिवाद है ये लोग जातिवाद का जहर घोलकर राजनीति करते हैं. सांसद ने कहा कि वेश में किसी को धोखा देना, भ्रमित करना , बहुत बड़ा अपराध है. उन्होंने कहा कि इटावा वाला (कथावाचक ) एक आधार कार्ड में ब्राह्मण , एक आधार में यादव है. एक ही व्यक्ति एक आधार कार्ड में ब्राह्मण और दूसरे में यादव कैसे हो सकता है. उन्होंने कहा क्या यह रोहिंग्या है, क्या आतंकवादी है, जो छिपकर रह रहे हैं.
‘देश में गुणों से पूजा होती है, जाती से नहीं’
बीजेपी सांसद ने कहा कि यादव बनकर कथा करिए और कौन मना कर रहा है, मगर भ्रमित करके नहीं . रावण का उदाहरण देते हुए साक्षी महाराज ने कहा ‘रावण ब्राह्मण था, राम – ठाकुर थे, राम ने रावण का वध किया, क्या किसी ब्राह्मण ने आज तक रावण का पुतला फूंका, क्योंकि रावण ने वेश बदलकर सीता का हरण किया. देश में गुणों से पूजा होती है, जाती से नहीं’.