ऑपरेशन सिंदूर और लादेन को ढेर किए जाने की कार्रवाई में समानताएं हैं: धनखड़

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने शनिवार को कहा कि ऑपरेशन सिंदूर और पाकिस्तान में अमेरिकी सेना द्वारा ओसामा बिन लादेन को ढेर किए जाने के बीच समानताएं हैं. उपराष्ट्रपति ने पाकिस्तान में आतंकवादियों के नौ ठिकानों पर हमलों को भारत का अब तक का सबसे बड़ा सीमा पार हमला बताया. इसके साथ ही उन्होंने 11 सितंबर, 2001 को अमेरिका में हुए आतंकवादी हमलों का जिक्र किया.

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लादेन का नाम लिए बिना उन्होंने कहा कि अमेरिका में 11 सितंबर के हमलों की योजना बनाने और उसे अंजाम देने वाले एक वैश्विक आतंकवादी को अमेरिकी सेना ने दो मई, 2011 को इसी तरह निपटाया था. जयपुरिया संस्थानों के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि भारत ने यह कर दिखाया है और दुनिया के सामने यह किया है.

हमले इतने सटीक कि आतंकवादियों का नुकसान हो

उपराष्ट्रपति ने कहा कि एक नया वैश्विक मानक स्थापित किया गया है. शांति की भावना को बनाए रखते हुए, आतंकवाद पर प्रहार करना उद्देश्य रहा है. पहली बार जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के गढ़ों पर अंतरराष्ट्रीय सीमा के पार सटीक हमले किए गए. धनखड़ ने कहा कि हमले इतने सटीक थे कि केवल आतंकवादियों को ही नुकसान पहुंचा.

उपराष्ट्रपति ने कहा कि पहलगाम आतंकवादी हमले के बाद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बिहार से वैश्विक समुदाय को एक संदेश दिया था. उन्होंने कहा कि वह खाली कहने की बात नहीं थी. दुनिया को अब एहसास हो गया है. धनखड़ ने यह भी कहा कि पहलगाम आतंकी हमला मुंबई आतंकी हमले के बाद नागरिकों पर सबसे घातक हमला था, जिसमें में 26 लोग मारे गए.

उन्होंने भारतीय सेना के पराक्रम को सलाम करते हुए कहा कि भारत ने आतंकवाद पर सटीक प्रहार कर शांति और सुरक्षा के नए मानदंड स्थापित किए हैं. साथ ही, उन्होंने इंडस वॉटर ट्रीटी पर भी टिप्पणी की और कहा कि जब तक हालात भारत के अनुकूल नहीं होते, इस पर पुनर्विचार संभव नहीं है.

उपराष्ट्रपति ने राजस्थान की धरती को वीरों की भूमि बताते हुए महाराणा प्रताप और महाराजा सूरजमल जैसे ऐतिहासिक योद्धाओं को नमन किया और कहा कि इस धरती से बार-बार राष्ट्र को प्रेरणा मिलती रही है.

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