मध्य प्रदेश: पन्ना टाइगर रिजर्व से जुड़ी एक रोमांचकारी और दिल को छू लेने वाली खबर सामने आई है. केन नदी के किनारे बाघिन पी-141 अपने दो प्यारे शावकों के साथ देखी गई, जिसका दुर्लभ दृश्य वहां मौजूद पर्यटकों ने कैमरे में कैद कर लिया. गर्मी के मौसम में अक्सर बाघ जल स्रोतों के समीप दिखाई देते हैं, और इसी दौरान यह सुंदर पल पर्यटकों को देखने को मिला.
वर्तमान में पन्ना टाइगर रिजर्व में 90 से अधिक बाघ हैं, जिनमें अधिकांश मडला जोन जैसे कोर क्षेत्र में पाए जाते हैं. अब बाघों की उपस्थिति बफर जोन, विशेषकर अकोला गेट के आसपास भी देखने को मिल रही है.
बाघों की संख्या में हो रही वृद्धि और उनकी सहज गतिविधियां पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र बन रही हैं. देश और प्रदेश के कोने-कोने से लोग इस जैविक धरोहर का साक्षात्कार करने पन्ना पहुंच रहे हैं. बाघिन पी-141 और उसके शावक न सिर्फ पन्ना की गौरवशाली धरोहर हैं, बल्कि यह भारत के वन्यजीव संरक्षण प्रयासों की सफलता की प्रेरक मिसाल भी हैं.
पन्ना टाइगर रिजर्व की प्राकृतिक सुंदरता, समृद्ध जैव विविधता और बाघों की बढ़ती मौजूदगी के चलते यहां पर्यटकों की संख्या में निरंतर इजाफा हो रहा है, जिससे यह क्षेत्र वन्यजीव प्रेमियों के लिए एक प्रमुख आकर्षण बन चुका है.