अयोध्या में ईद पर अनोखा नज़ारा, संतों ने बाबरी मस्जिद के पूर्व पक्षकार को दी बधाई

अयोध्या: रामनगरी अयोध्या हमेशा से आपसी सौहार्द और भाईचारे का प्रतीक रही है. चाहे होली हो, दिवाली हो या ईद और बकरीद, हर त्योहार में दोनों समुदायों के लोग एक-दूसरे की खुशियों में शरीक होते हैं और एक-दूसरे को बधाई देते हैं. इस बार भी ईद के मौके पर अयोध्या में कुछ इसी तरह का दृश्य देखने को मिला, जब बाबरी मस्जिद के पूर्व मुद्दई इकबाल अंसारी के घर संत बधाई देने पहुंचे.

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इकबाल अंसारी ने उनका स्वागत फूलों की माला से किया, और इसके बाद संतों ने उनसे गले मिलकर ईद की शुभकामनाएं दीं.

राम मंदिर और बाबरी मस्जिद के विवाद के बावजूद सौहार्द का संदेश

राम मंदिर और बाबरी मस्जिद के विवाद ने पूरे देश और दुनिया का ध्यान आकर्षित किया था. 500 वर्षों के संघर्ष के बाद राम मंदिर का निर्माण सुखद परिणाम के साथ हो रहा है. न्यायालय में दोनों पक्षों के बीच जो मतभेद थे, वे अब समाप्त हो चुके हैं.

बावजूद इसके, ईद के मौके पर अयोध्या में पूर्व बाबरी पक्षकार इकबाल अंसारी और राम मंदिर के पक्षकार महंत धर्मदास एक साथ नजर आए. दोनों ने एक-दूसरे को गले लगाकर और शुभकामनाएं देकर भाईचारे का संदेश दिया.

हमारा मतभेद हो सकता है, लेकिन मनभेद नहीं’

इस अवसर पर इकबाल अंसारी ने कहा, “अयोध्या में हम सभी गंगा-जमुना तहजीब की मिसाल हैं और यहां हम हर त्योहार में एक-दूसरे के साथ होते हैं। हमारा मतभेद हो सकता है, लेकिन मनभेद नहीं है.” इस पर संत समाज ने भी इकबाल अंसारी को गले लगाकर उन्हें आशीर्वाद दिया और कहा, “हमारा आपस में प्रेम है. भगवान राम ने भी यही संदेश दिया था कि यहां के लोग एक-दूसरे के प्रति प्रेम और भाईचारे का भाव रखते हैं.”

इस प्रकार, अयोध्या ने एक बार फिर यह साबित किया कि धार्मिक विविधताओं के बावजूद, प्यार और सौहार्द की भावना हमेशा जीतती है.

 

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