बस्ती: पुराने बाजार में स्थित बाबा ढाबा के पास एक अनाज की दुकान मे अनाज के रेट पूछ रहे थे, लेकिन उनकी हरकतें संदिग्ध लग रही थीं। यह पहली बार नहीं था जब वे आए थे, इससे पहले भी, 27 मार्च को, वे दुकान पर आए थे और अनाज का रेट पूछने और कुछ देर इधर-उधर देखने के बाद चले गए थे.
अनमोल को यह बात असामान्य लगी, तो उसने दुकान मालिक पंकज शुक्ला को फोन कर बताया, पंकज ने तुरंत अपने परिचितों को बुला लिया, कुछ ही देर में दुकान पर रितिक चौधरी, विवेक शुक्ला, उमेश यादव और मनीष पटवा पहुंच गए। जैसे ही उन अजनबियों से उनका आईडी कार्ड मांगा गया, माहौल गरमा गया, बहस शुरू हुई और फिर देखते ही देखते हाथापाई हो गई. इसी बीच, एक तमंचा नीचे गिरा। यह देखकर दोनों अजनबी घबरा गए और किसी तरह वहां से भाग निकले.
अब माहौल गंभीर हो चुका था, दुकान के अंदर मौजूद लोग असमंजस में थे कि आगे क्या किया जाए, तभी पंकज शुक्ला ने अनमोल को सलाह दी कि पुलिस को लूट की सूचना दे दी जाए। अनमोल ने घबराते हुए डायल 112 पर फोन किया और तीन लाख रुपये की लूट की झूठी खबर दे दी.
जैसे ही पुलिस को यह सूचना मिली, पूरा महकमा हरकत में आ गया। थाना पुरानी बस्ती, थाना रुधौली, एसओजी टीम और स्वाट टीम ने तुरंत मौके पर पहुंचकर जांच शुरू की, मौके से मिले सुरागों और संदिग्ध गतिविधियों के आधार पर जब गहराई से पूछताछ की गई, तो पूरा सच सामने आ गया. अनमोल और पंकज की साजिश उजागर हो गई, और पुलिस ने उन्हें झूठी सूचना देने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया.
पूछताछ के दौरान पता चला कि इस पूरे षड्यंत्र में नरेन्द्र चौधरी भी शामिल था, जिसके पास बिना अनुज्ञप्ति के लाइसेंसी पिस्टल पाई गई, इसके अलावा, मौके से एक अवैध कट्टा, एक हेलमेट, मोबाइल फोन और मोटरसाइकिल बरामद हुई। जब पुलिस ने आगे जांच की, तो रितिक चौधरी और वसीम का भी इस मामले से संबंध उजागर हुआ। अंततः पुलिस ने पांचों आरोपियों – अनमोल चौधरी, पंकज शुक्ला, नरेन्द्र चौधरी, रितिक चौधरी और वसीम – को गिरफ्तार कर लिया.
इस पूरे घटनाक्रम में पुलिस की सतर्कता और कुशलता की जितनी प्रशंसा की जाए, कम है। थाना पुरानी बस्ती के थानाध्यक्ष महेश सिंह, प्रभारी निरीक्षक विजय दुबे, एसओजी प्रभारी चंद्रकांत पाण्डेय, स्वाट प्रभारी संतोष कुमार और अन्य पुलिसकर्मियों ने बेहतरीन कार्य किया.
उपरोक्त बातें अपर पुलिस अधीक्षक को प्रकाश सिंह द्वारा क्षेत्राधिकारी सदर सत्येंद्र भूषण त्रिपाठी के मौजूदगी में बताया गया.
उन्होंने बताया कि लूट की सूचना पर तत्काल पहुंची पुलिस को मामला संदिग्ध लगा और वहां मिले मोबाइल में जब देखा गया तो उसे पर मोबाइल के मालिक का आईडी लगा हुआ था तुरंत उन दोनों के यहां पहुंची और उनको लेकर दुकान के लोगों का जब आमना सामना कराया गया तो सारी हकीकत सामने आ गई.
मामले में पता चला कि उन दोनों लोगों से जो अनाज का दाम पूछने आए थे कान मालिक और वहां काम कर रहे कार्यकर्ताओं के साथ मारपीट हो गई थी जिसमें किसी का अवैध रिवाल्वर गिर गया.
पुलिस जब दुकान पर पहुंची तो उसे वहां एक अवैध रिवाल्वर एक मोबाइल तथा एक पल्सर गाड़ी मिली तथा एक हेलमेट मिला.
बस्ती पुलिस की इस कार्रवाई से एक बार फिर यह स्पष्ट हो गया कि झूठी सूचना देकर पुलिस को गुमराह करने वालों के खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे। पुलिस ने आम जनता से अपील की है कि किसी भी प्रकार की झूठी सूचना देने से बचें, अन्यथा कठोर कानूनी कार्रवाई की जाएगी.