Uttar Pradesh: गोंडा जिले के नवाबगंज क्षेत्र में स्थित गुप्ती शहीद शाह मजार पर अंधविश्वास के चलते एक 17 वर्षीय किशोरी की दर्दनाक मौत हो गई. यह घटना उस वक्त सामने आई जब कनकपुर गांव निवासी बाबा पुत्र बुच्चू अपनी बेटी कविता को झाड़-फूंक के लिए मजार पर ले गया.
बताया गया कि कविता कई दिनों से तेज बुखार से पीड़ित थी. शुरुआत में इलाज के लिए डॉक्टर को दिखाया गया, लेकिन जब आराम नहीं मिला, तो परिवार गांव के कुछ अंधविश्वासी लोगों के बहकावे में आ गया. लोगों ने कहा कि कविता पर “शैतानी साया” है और गुप्ती शहीद बाबा की मजार पर झाड़ा लगवाने से यह साया हट जाएगा.
बृहस्पतिवार को कविता को उसकी मां और पिता मजार पर ले गए. तीन दिन तक वहां झाड़-फूंक का सिलसिला चलता रहा, लेकिन लड़की की हालत में कोई सुधार नहीं हुआ. शनिवार की दोपहर, मजार पर ही उसकी मौत हो गई.
घटना के बाद मजार में झाड़-फूंक करने वाले लोग मौके से फरार हो गए. सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है. थानाध्यक्ष अभय सिंह ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है और मजार पर मौजूद लोगों से पूछताछ भी की गई है.
यह घटना एक बार फिर से बताती है कि अंधविश्वास आज भी ग्रामीण क्षेत्रों में किस तरह लोगों की जिंदगी पर भारी पड़ रहा है. इलाज के अभाव और जागरूकता की कमी के चलते एक और मासूम ने अपनी जान गंवा दी.