उत्तर प्रदेश : बहराइच जिले के महराजगंज कस्बे में रविवार को दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान भारी हिंसा की घटना सामने आई। इस हिंसा में एक युवक की जान चली गई, जबकि 12 से अधिक लोग घायल हो गए। मृतक का नाम रामगोपाल मिश्रा बताया जा रहा है, जिनकी गोली मारकर हत्या कर दी गई। घटना के बाद से इलाके में तनाव व्याप्त है और प्रशासन द्वारा सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है.
घटनाक्रम और विवाद की शुरुआत
महराजगंज कस्बे में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन का जुलूस निकाला जा रहा था। इस दौरान गीत-संगीत को लेकर दोनों समुदायों के बीच विवाद शुरू हो गया.इसके बाद दूसरे समुदाय के लोगों ने पथराव कर दिया, जिससे दुर्गा प्रतिमा खंडित हो गई. प्रतिमा खंडित होने के बाद पूजा समिति के सदस्यों ने इस घटना का विरोध किया.इसी दौरान विवाद बढ़ा और हिंसा भड़क गई.
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, जब प्रतिमा विसर्जन का जुलूस महराजगंज कस्बे में पहुंचा, तब स्थानीय निवासी सोनार अब्दुल हमीद अपने बेटे और अन्य लोगों के साथ मौके पर पहुंचे और जुलूस में शामिल लोगों के साथ गाली-गलौज शुरू कर दी.इसका विरोध करने पर उन्होंने और अन्य ने छतों से पथराव करना शुरू कर दिया.इस पत्थरबाजी के बाद जुलूस में अफरा-तफरी मच गई.
गोलीबारी और आगजनी
जुलूस में शामिल रामगोपाल मिश्रा (24) को विवाद के दौरान दूसरे समुदाय के कुछ लोग अपने घर के अंदर घसीट ले गए और उन पर हमला किया.उन्हें गोली मारी गई, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई. इस घटना में रामगोपाल को बचाने की कोशिश कर रहे राजन (28) भी गंभीर रूप से घायल हो गए. इसके बाद हालात और बिगड़ गए, और आक्रोशित भीड़ ने बहराइच-सीतापुर हाईवे और बहराइच-लखनऊ हाईवे को जाम कर दिया.
प्रशासन की सख्ती और पुलिस तैनाती
घटना के बाद पुलिस प्रशासन हरकत में आया। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए भारी संख्या में पुलिस बल और पीएसी के जवान मौके पर तैनात किए गए.बहराइच पुलिस के एसपी वृंदा शुक्ला और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी मौके पर पहुंचे और इलाके का निरीक्षण किया.डीजीपी प्रशांत कुमार ने बताया कि गोरखपुर से एडीजी जोन केएस प्रताप कुमार और देवीपाटन रेंज के डीआईजी अमरेंद्र प्रताप सिंह को स्थिति का जायजा लेने भेजा गया है.
इस घटना के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सख्त कार्रवाई करते हुए लापरवाही बरतने वाले हरदी थाने के प्रभारी और महसी चौकी के प्रभारी को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया.
तनावपूर्ण माहौल और स्कूलों में छुट्टी
घटना के बाद महराजगंज और महसी इलाके में तनाव का माहौल बना हुआ है.सुरक्षा के मद्देनजर पुलिस ने पूरे कस्बे को सील कर दिया है.पुलिस ने इलाके में कर्फ्यू जैसे हालात बना दिए हैं ताकि किसी तरह की और हिंसा न हो.आसपास के निजी स्कूलों में एहतियातन छुट्टी घोषित कर दी गई है.
जनाक्रोश और प्रदर्शन
इस घटना के विरोध में विसर्जन कमेटी और अन्य संगठनों ने बहराइच-सीतापुर और बहराइच-लखनऊ हाईवे पर प्रदर्शन किया, जिससे यातायात बाधित हुआ.शहर में प्रतिमा विसर्जन की प्रक्रिया भी सैकड़ों जगहों पर रोक दी गई है.इस हिंसा और उसके बाद के जनाक्रोश ने बहराइच जिले में एक तनावपूर्ण स्थिति पैदा कर दी है, जिससे स्थिति को नियंत्रित करने के लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं.
प्रशासन की स्थिति पर नियंत्रण की कोशिश
हालात पर नियंत्रण पाने के लिए प्रशासन ने स्थानीय पुलिस, पीएसी और अन्य सुरक्षा बलों की मदद से स्थिति को काबू में करने की कोशिश की है.कस्बे में हर आने-जाने वाले पर नजर रखी जा रही है.धार्मिक भावनाओं को ठेस न पहुंचे, इसके लिए प्रशासन स्थिति को नियंत्रित करने में जुटा है.
बहराइच जिले के महराजगंज कस्बे में हुई यह घटना दुखद और चिंताजनक है.इस प्रकार की हिंसा समाज में धार्मिक सौहार्द्र को नुकसान पहुंचाती है.प्रशासन के प्रयासों और पुलिस बल की तैनाती से उम्मीद की जा रही है कि स्थिति जल्द ही सामान्य हो जाएगी, लेकिन ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए सरकार और प्रशासन को और कड़े कदम उठाने की आवश्यकता है ताकि धार्मिक समारोह और उत्सव शांतिपूर्ण और सुरक्षित ढंग से संपन्न हो सकें.