ज्योति जासूसी कांड की जांच आगे बढ़ने के साथ ही नए-नए खुलासे हो रहे हैं.लगातार गिरफ्तारियां हो रही है. अब जासूसी का नेटवर्क हरियाणा-पंजाब से निकल कर यूपी -दिल्ली तक पहुंच गया. UP ATS ने दिल्ली से भी एक आरोपी को गिरफ्तार किया है.
यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा ने जैसे ही पाकिस्तानी वीजा के लिए दिल्ली में पाकिस्तानी हाई कमीशन पहुंची तो वहां से बिछाए गए जाल में फंसती चले गई. वहां तैनात वीजा अधिकारी दानिश, असल में आईएसआई का एजेंट था, जिसे पाकिस्तानी हुक्मरानों के इशारे पर भारत में स्लीपर सेल बनाने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी.
फर्ज़ी पहचान से एजेंटों की घुसपैठ
ज्योति मल्होत्रा को अपने जाल में फंसाने वाला ISI एजेंट दानिश को पाकिस्तान हाईकमीशन में वीजा डेस्क पर नाम-पता बदल कर रखा गया. 21 जनवरी 2022 को उसका वीजा तैयार हुआ. वीजा में नाम एहसान-उर-रहमान है. दानिश की तरह ही आबिद और ताहिर हुसैन को वीजा टेस्ट पर लाया गया था. जिसकी पोल मिलिट्री इंटेलिजेंस ने स्टिंग ऑपरेशन से खोली थी.
बाद में दोनों को गिरफ्तार कर पाकिस्तान वापस भेजा गया था. राणा मोहम्मद जिया नाम के एजेंट की पोल 2021 में खुली थी.हाईकमीशन में उसे भी वीजा डेस्क पर लाकर isi स्लीपर सेल तैयार करवा रहा था. हाईकमीशन दोनों देशों के रिश्तों को बेहतर करने के लिए है लेकिन पाकिस्तान ने इसे हमेशा से साजिश का अड्डा बनाया और इसे जासूसी के लिए इस्तेमाल किया. यहां isi का गढ़ बनाया.
isi का नेटवर्क: हर कर्मचारी बनता है जासूस
सूत्रों के मुताबिक, ISI फर्जी नाम पता से यहां स्टाफ भरते हैं. फिर चाहे वो वीजा अधिकारी हो या ड्राइवर या फिर क्लर्क हो या फिर कुक. सभी ISI के एजेंट ही होते हैं और उनका काम भारत में अपना नेटवर्क बनाना और जासूसों की फौज खड़ा करना होता है.
यहीं वजह है कि हाल में ही भारत ने पाकिस्तानी उच्चायोग में स्टाफ की संख्या में भारी कटौती की औरहर संदिग्ध का वापस रास्ता दिखाया.
14 गिरफ्तारियां
जासूसी कांड में अब तक 14 की गिरफ्तारियां हो चुकी हैं. आखिरी गिरफ्तारी दिल्ली से हुई जहां UP ATS ने दिल्ली के सीलमपुर से हारुन को पकड़ा. हारुन पाकिस्तानी उच्चायोग के कर्मचारी के संपर्क में था. सबसे ज्यादा पंजाब से 7 गिरफ्तारी हुई, तो हरियाणा से 5 जासूसों को दबोचा गया जिनमें यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा भी शामिल है. दो गिरफ्तारी यूपी एटीएस ने की.
कबाड़ी हारून की एक बीबी पाकिस्तान में
UP एटीएस ने मोहम्मद हारून को दिल्ली से धर दबोचा. पाकिस्तानी दूतावास में काम करने वाले मुजम्मिल हुसैन से कनेक्शन के बाद मोहम्मद हारून को पकड़ा जो कबाड़ी का काम करता है. हारून ने 2 शादियां की. उसकी एक बीवी पाकिस्तान में है. हारून की बुआ भी पाकिस्तान में रहती है. दूसरी शादी पाकिस्तान में बुआ की बेटी से की.
घरवालों के मुताबिक इस दूसरी शादी के बारे में करीब दो साल पहले पता चला. हारून के घर वाले भी मान रहे हैं कि वह अक्सर पाकिस्तान जाता रहा है. हारुन आखिरी बार 5 अप्रैल को पाकिस्तान गया था और 20 दिन रह कर वो 25 अप्रैल को लौटा. सवाल है कि पाकिस्तानी उच्चाय़ोग के कर्माचारी के उसके कैसे लिंक थे. उससे जासूसी का काम करवाया जा रहा था?
दानिश से जुड़ते तार और बढ़ता दायरा
हारून के लिंक पाकिस्तानी उच्चायोग में काम कर रहे दानिश से भी जुड़ा. दानिश ने ज्योति के साथ-साथ 4 राज्यों तक जासूसी का जाल फैलाया. दानिश बनारस की भी रेकी करवाई थी. बनारस से तुफैल की गिरफ्तारी हुई .तुफैल नफीसा नामक महिला के हनी ट्रैप में फंसकर जानकारियां भेज रहा था. तुफैल 600 पाकिस्तानी लोगो के साथ व्हाट्सएप ग्रुप के जरिये संपर्क में था. तहरीके लब्बैक की सामग्री लोगों को शेयर करता था.
तारिफ और अरमान पर पाकिस्तानी हाई कमीशन में अधिकारियों को भारतीय सिम कार्ड देने और वीजा दिलाने के बदले पैसे लेने का आरोप है. तारिफ की गिरफ्तारी और उसके बयान के आधार पर पाकिस्तानी हाई कमीशन के पूर्व अधिकारियों का नाम भी FIR में शामिल किया गया है.