देश के अलग-अलग हिस्सों में I Love Muhammad विवाद पर रैलियां, प्रदर्शन और झड़पों की खबर सामने आई हैं. इस विवाद की शुरुआत कानपुर से हुई थी. इसी बीच उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री संजय निषाद ने भी इस विवाद पर अजीबोगरीब बयान दिया है. उन्होंने कहा कि उर्दू-अरबी पढ़ने वाले जब अंग्रेजी पढ़ने लगे और अल्लाह को अंग्रेजी पढ़ाने लगेतो समझ में आता है कि इसके पीछे क्या राजनीति चल रही है? भगवान भी राजनीति के शिकार हैं.
संजय निषाद ने कहा कि तलवार से त्योहार नहीं मनेगा, अब संस्कार से त्योहार मानेगा. जो लोग अल्लाह को अंग्रेजी पढ़ा रहे हैं वो उन्मादी लोग हैं. पुलिस लाठी नहीं चलाएगी तो क्या हाथ जोड़ कर बात करेगी. हमारे आंदोलन के समय तो पुलिस को सीधे गोली मारने के आदेश थे.
उत्तर प्रदेश में कहां-कहां हुई हिंसा?
उत्तर प्रदेश के कई जिलों जैसे बरबंकी, मऊ और मुजफ्फरनगर में तनाव भड़क गया. यह बरेली में शुक्रवार (26 सितंबर, 2025) की नमाज के बाद ‘आई लव मुहम्मद’ अभियान को लेकर हुई हिंसक झड़पों के बाद शुरू हुआ. पुलिस ने इसमें शामिल लोगों को पकड़ने के लिए रात भर घर-घर छापेमारी की है.
इस दौरान मौलवी तौकीर रजा को गिरफ्तार किया. अधिकारियों ने शनिवार को बताया कि स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए भारी संख्या में सुरक्षा बल तैनात किए गए हैं.
सोशल मीडिया पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है. बरेली की झड़पों के बाद बरबंकी जिले के फैजुल्लागंज गांव (लखनऊ के पास) में तनाव फैल गया. यहां पर जब ‘आई लव मुहम्मद’ लिखा एक बैनर फाड़ दिया गया. एक पक्ष ने आरोप लगाया कि स्थानीय चौकीदार धन्नी ने लाठी से रस्सी काटकर बैनर गिराया. इस घटना के बाद एक समुदाय के लोग घटनास्थल पर इकट्ठा हुए और नाराजगी जताई. दूसरे समुदाय के लोग भी जमा होने लगे, जिससे गांव में तनावपूर्ण माहौल बन गया.