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PWD अफसर पर क्यों लगा 5 रुपये का जुर्माना? चार सालों से कर रहे थे ये गलती

हिमाचल प्रदेश के हमीरपुर से हैरान करने वाला मामला सामने आया है. यहां बीते 4 सालों से बैठक में न आने पर एक अधिकारी पर जो जुर्माना लगाया गया है वो आपको हैरत में डाल देगा. जिले के लोक निर्माण विभाग के एक अधिकारी पर इस घोर लापरवाही के लिए केवल 5 रुपये का जुर्माना लगाए जाने का निर्णय लिया गया है. वह पिछले 4 सालों से विकास कार्यों के लिए होने वाली बैठकों में नदारद रहे हैं.

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हमीरपुर में मंडल टौणीदेवी पीडब्ल्यूडी के अधिकारी पर आरोप है कि वह पिछले चार सालों से विकास कार्यों की होने वाली बैठकों में शामिल नहीं हो रहे थे, जिसके कारण उनपर ब्लॉक समिति की बैठक में 5 रुपये का जुर्माना लगाए जाने का निर्णय लिया गया है. अब अधिकारी को ये जुर्माना चुका होगा, जो जिले में चर्चा का विषय बना हुआ है.

5 रुपये का लगाया गया जुर्माना

किसी अधिकारी पर विकास कार्यों की जिम्मेदारी हो और वह इनसे संबंधित बैठकों में नदारद रहे तो दिक्कत आती हैं. लेकिन हद तब हो जाए जब वह अधिकारी एक बैठक नहीं बल्कि चार साल तक पंचायत समिति हमीरपुर की बैठक में शामिल न हो. इसके लिए लापरवाह अधिकारी पर जुर्माना लगाया गया. सोमवार को हमीरपुर पंचायत समिति की त्रैमासिक बैठक आयोजित हुई. बैठक की अध्यक्षता बीडीसी अध्यक्ष हरीश शर्मा ने की. बैठक में जिले के विकासकार्यों पर चर्चा चल रही थी. लेकिन बैठक में पीडब्ल्यूडी मंडल टौणीदेवी के अधिकारी शामिल नहीं थे. मालूम हुआ कि वह बीते चार साल से बैठक में शामिल नहीं हुए हैं.

कई बार जारी की गईं थीं चेतावनी

इसी दौरान बैठक में अहम निर्णय लेते हुए टौणीदेवी मंडल के लोक निर्माण विभाग के अधिकारी पर फैसला लिया गया. बैठक में उनपर बीत चार सैलून से अनुपस्थित रहने पर 5 रुपये का जुर्माना लगाया गया. इस मामले में बीडीसी अध्यक्ष हरीश शर्मा ने बताया कि टौणीदेवी मंडल के पीडब्ल्यूडी अधिकारी को पहले भी चेतावनी जारी की गई थी. उन्होंने बताया कि उनके बैठकों में न आने से जिले के विकासकार्यों में दिक्कतें आ रहीं थीं. उन्होंने बताया कि उन्हेंजिम्मेदारी का अहसास कराने और दूसरों को नजीर पेश करने के लिए यह जुर्माना लगाया गया है.

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