मेरठ के जागृति विहार में अजगर देखे जाने के बाद स्थानीय लोगों में दहशत फैल गई है. वन विभाग पर समय पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाते हुए लोगों ने इलाके में ‘गुमशुदा अजगर; के पोस्टर लगा दिए हैं, जिसमें अजगर की जानकारी देने वाले को ₹1100 इनाम देने की घोषणा की गई है. वहीं, वन विभाग का कहना है कि अब तक दो छोटे अजगरों को रेस्क्यू किया जा चुका है, लेकिन बड़े अजगर के होने का कोई ठोस प्रमाण नहीं मिला है.
जानकारी के अनुसार, मेरठ के जागृति विहार के कीर्ति पैलेस में गुमशुदा अजगर के पोस्टर लगे हैं. पोस्टर पर लिखा है- अजगर की लंबाई 30 फीट, रंग गेहुआ चित्तीदार, जागृति विहार सेक्टर 2 बिजली घर नाले के पास. अजगर की सूचना देने वाले व्यक्ति को 1100 रुपये का इनाम दिया जाएगा. दरअसल, यह पोस्टर लगाने के साथ वन विभाग पर लापरवाही के आरोप लगाए गए हैं. बताया जा रहा है कि इलाके में 5 से 6 दिन पहले दो अजगर दिखाई दिए थे, जिसमें से एक बड़ा अजगर था और एक छोटा.
इसकी सूचना वन विभाग की टीम को दी गई, लेकिन टीम देर से पहुंची, जब तक बड़ा अजगर कहीं गुम हो चुका था. वन विभाग की टीम ने छोटे अजगर को पकड़ लिया. इसके दो दिन बाद ही एक और छोटा बच्चा दिखाई दिया, जिसकी सूचना वन विभाग को दी गई. वन विभाग की टीम फिर से मौके पर पहुंची और छोटे अजगर को पकड़ लिया, लेकिन आरोप है कि बड़े अजगर को फिर भी नहीं पकड़ा जा सका. लोगों का कहना है कि बड़ा अजगर गुम होने से डर का माहौल है.
वन विभाग पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए इलाके में अजगर के गुमशुदा होने के पोस्टर लगाए गए हैं. इस पर गुमशुदा अजगर की सूचना देने वाले को 1100 रुपये का नकद इनाम देने की बात लिखी है. पोस्ट पर जिस शख्स का नाम लिखा है, वह विनीत चपराना छात्र नेता हैं.
विनीत चपराना का कहना है कि अजगर के डर से लोग रातों को पहरेदारी में लगे हैं. मेरठ के मेडिकल थाना क्षेत्र में अजगर का आतंक है. पिछले एक हफ्ते में 5 से 6 फीट के दो अजगर वन विभाग ने पकड़े, लेकिन बड़ा अजगर, जिसकी लंबाई लगभग 30 फीट से अधिक है, उसको पकड़ने में वन विभाग असफल रहा है. इसी के विरोध में छात्रों व स्थानीय लोगों ने बिजली घर के आस-पास गुमशुदा अजगर की तलाश के पोस्टर लगाए हैं. हमारी मांग है कि इस मामले में उचित कार्रवाई की जाए. रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया जाए.
मेरठ के जिला वन विभाग अधिकारी राजेश कुमार का कहना है कि अजगर की सूचना मिली थी. इलाके से दो अजगरों को रेस्क्यू किया गया है, दो टीमें लगी हैं, जो सर्चिंग कर रही हैं. अभी किसी और अजगर के प्रमाण नहीं मिले हैं. ये गलत तरीके से प्रसारित किया जा रहा है. वन विभाग पूरी जिम्मेदारी के साथ लगा है. वन विभाग की ओर से नंबर भी जारी किए गए हैं